पंजाब में बढ़ रहा नशा  …..युवाओं की रगों में बसता जा रहा नशा

पंजाब में हालात चिंताजनक: युवाओं की रगों में बसता जा रहा नशा, ड्रग्स के सेवन से महिलाएं हो रही बांझपन का शिकार
पंजाब के बॉर्डर एरिया के गांवों व कस्बों में ही ड्रग्स की मार देखने को मिलती थी। अब पांच बड़े शहर ऐसे हैं, जहां ड्रग्स का सेवन तेजी से बढ़ रहा है। सरकार नशे को खत्म करने के बड़े-बड़े दावे कर रही है, जबकि जमीनी हकीकत कुछ और देखने को मिलती है।

Worrisome situation in Punjab, Drug addiction spreading in veins of youth, big cities becoming hot-spots

पंजाब में बढ़ रहा नशा 

पंजाब के गांवों-कस्बों से लेकर बड़े शहरों में नशे का जाल तेजी से फैलता जा रहा है। युवाओं की रगों में नशे का जहर घोला जा रहा है। बड़े शहर नशे के हॉट-स्पॉट बनते जा रहे हैं। बठिंडा, पटियाला, होशियारपुर, अमृतसर और लुधियाना जैसे बड़े शहरों में हालात चिंताजनक हैं। इसका असर प्रदेश की मौजूदा पीढ़ी पर ही नहीं, बल्कि आने वाली पुश्तों पर भी पड़ने लगा है। ड्रग्स के सेवन से महिलाएं बांझपन का शिकार हो रही हैं। पुरुषों पर भी इसका प्रभाव पड़ रहा है।

सरकार नशे को खत्म करने के बड़े-बड़े दावे कर रही है, जबकि जमीनी हकीकत ये है कि पंजाब में औसत हर रोज एक व्यक्ति की ड्रग्स की ओवरडोज के कारण मौत हो रही है। प्रदेश की मौजूदा सरकार ने भी सत्ता संभालते ही दो साल के अंदर ड्रग्स का खात्मा करने का एलान किया था, लेकिन जो हालात आज से दो साल पहले थे, वह जस के तस बने हुए हैं। यह कहने में हर्ज नहीं कि समय के साथ प्रदेश में ड्रग्स का चलन बढ़ा है।

पंजाब के बॉर्डर एरिया के गांवों व कस्बों में ही ड्रग्स की मार देखने को मिलती थी, अब बड़े शहरों में भी पुलिस की नाक के नीचे इसका चलन बढ़ता जा रहा है। इस साल एक जनवरी से लेकर 30 जून तक पुलिस ने पूरे पंजाब में ड्रग्स के कुल 4,677 केस दर्ज किए। इन मामलों में पुलिस ने कुल 6,364 आरोपियों की गिरफ्तारी की। इस सबके अलावा पुलिस ने अलग-अलग मामलों में 6 करोड़ 35 लाख 36 हजार 120 रुपये ड्रग मनी भी पकड़ी है।

बठिंडा में ड्रग्स के सबसे ज्यादा 325 केस
पंजाब के पांच बड़े शहर ऐसे हैं, जहां ड्रग्स का सेवन तेजी से बढ़ रहा है। इनमें बठिंडा, पटियाला, होशियारपुर, अमृतसर और लुधियाना शामिल हैं। इस साल पूरे प्रदेश की अगर बात की जाएं तो अब तक बठिंडा में ड्रग्स के सबसे ज्यादा 325 केस दर्ज किए गए। इसी तरह पटियाल में 303, होशियारपुर में 242, अमृतसर रूरल में 270 और लुधियाना में 233 केस दर्ज किए गए।

अमृतसर के शहरी इलाकों में 175 केस दर्ज किए गए। सीएम भगवंत मान के गढ़ संगरूर की अगर बात करें तो यहां 212 केस दर्ज किए जा चुके हैं। वहीं, प्रदेश के बॉर्डर बेल्ट और कुछ एरिया में पुलिस ड्रग्स तस्करों को दबोचने में नाकाम साबित हो रही है। इन एरिया में सबसे कम मामले पकड़ में आए हैं। पुलिस ने पठानकोट में 34, गुरदासपुर में 75, मालेरकोटला में 96, रूपनगर में 68 और फतेहगढ़ साहिब में 92 केस ही दर्ज किए गए।

कैप्सूल और नशीली दवाइयों का बढ़ रहा ट्रेंड
प्रदेश में हेरोइन, अफीम, गांजा, चरस के अलावा अन्य नशों के साथ कैप्सूल और नशीली दवाइयों का चलन बढ़ने लगा है। अकेले एसटीएफ ने पंजाब भर में अलग-अलग जगहों पर छापामारी कर 2 करोड़ 68 लाख 77 हजार 596 कैप्सूल व नशीली दवाइयां पकड़ी हैं। कैप्सूल और नशीली दवाइयों का चलन ज्यादातर फरीदकोट, बठिंडा और पटियाला क्षेत्र में बढ़ा है।
एक जनवरी से 30 जून इतना नशा पकड़ा
हेरोइन 487.360 किलो
अफीम 686.120 किलो
चूरापोस्त 23,805.08 किलो
चरस 77.696 किलो
गांजा 398.003 किलो
आइस 13.995 किलो
कैप्सूल-नशीली दवाइयां 2,76,97,291
अधिकारी के अनुसार
पंजाब के हर हिस्से में पुलिस ड्रग्स तस्करों को दबोचने के लिए दिन रात काम कर रही है। पुलिस लगातार सर्च कर ड्रग्स तस्करों को दबोच रही है। इन आरोपियों पर तुरंत केस दर्ज कर कार्रवाई की जाती है। पुलिस ने विशेष अभियान चलाकर अब ड्रग्स तस्करों की संपत्तियों को अटैच करना भी शुरू कर दिया है। डीजीपी, पंजाब।

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