Delhi Election VIP Candidates LIVE UPDATES: पटपड़गंज सीट से मनीष सिसोदिया को सिर्फ 74 वोट की बढ़त

 

कालकाजी सीट पर बीजेपी उम्मीदवार धर्मवीर सिंह आगे चल रहे हैं. हालांकि आतिशी के मुकाबले उनकी बढ़त अब सिर्फ 11 वोट की रह गई है. लेकिन धर्मवीर सिंह लगातार इस सीट से बढ़त बनाए हुए हैं.

 

इस चुनाव में भी कांग्रेस के खाता खुलने के कोई आसार नज़र आ रहे हैं. दिल्ली की 70 में से एक भी सीट ऐसी नहीं है जहां कांग्रेस उम्मीदवार दूसरे नंबर पर हो. कांग्रेस के सभी बड़े चेहरे अरविंदर सिंह लवली, मतीन अहमद, अलका लांबा, हारून यूसुफ तीसरे नंबर पर चल रहे हैं और ये सभी नेता अब लगभग जीत की रेस से बाहर दिखाई दे रहे हैं.

 

चांदनी चौक सीट से अलका लांबा की हार लगभग तय लग रही है. प्रहलाद सिंह ने शुरुआत में ही 6 हजार वोट की बढ़त हासिल कर ली है. उनके मुकाबले में अलका लांबा को अब तक सिर्फ 152 वोट मिले हैं. इन रुझानों से साफ है कि मुस्लिमानों ने चांदनी चौक सीट पर आम आदमी की तरफ वोटिंग की है, क्योंकि जिन बूथों के रुझान सामने आ रहे हैं वहां मुस्लिम आबादी करीब 90 फीसदी है.

 

हरि नगर सीट से अब बीजेपी उम्मीदवार तेजेंद्र पाल बग्गा 50 वोट से पीछे चल रहे हैं. बग्गा के सामने आम आदमी पार्टी ने राज कुमारी ढिल्लो को उम्मीदवार बनाया है. राज कुमारी ढिल्लो हरि नगर से दो बार की पूर्व पार्षद हैं और पूर्व कांग्रेस नेता रही है. ढिल्लो ने 25 दिन पहले ही आम आदमी पार्टी ज्वाइन की.

 

मुस्तफाबाद सीट से बीजेपी उम्मीदवार जगदीश प्रधान बड़ी जीत की ओर बढ़ रहे हैं. जगदीश प्रधान 11 हजार वोट से आगे चल रहे हैं. 2015 के विधानसभा चुनाव में जगदीश प्रधान सिर्फ 6 हजार वोट से जीत दर्ज करने में कामयाब रहे थे.

 

चुनाव आयोग के मुताबिक पटपड़गंज से मनीष सिसोदिया की बढ़त घटकर सिर्फ 74 पर आ गई है. मनीष सिसोदिया आम आदमी पार्टी के दूसरे सबसे बड़े नेता है. दिल्ली में शिक्षा सुधार का चेहरा मनीष सिसोदिया को ही बताया जाता है. ऐसे में सिसोदिया का सिर्फ 74 वोट से आगे होना आम आदमी पार्टी की चिंता बढ़ा सकता है.

 

शकूरबस्ती से सतेंद्र जैन बीजेपी उम्मीदवार के मुकाबले करीब 100 वोट से पीछे चल रहे हैं. बीजेपी ने इस सीट पर एस सी वत्स को उम्मीदवार बनाया है. एस सी वत्स इस सीट से कांग्रेस के टिकट पर दो बार विधायक रहे हैं. हालांकि इस बार वो बीजेपी के टिकट पर किस्मत आजमा रहे हैं.

 

नई दिल्ली सीट से केजरीवाल अपनी सबसे बड़ी जीत दर्ज कर सकते हैं. रुझानों में केजरीवाल ने चार हजार वोट से बढ़त बना रखी है. राघव चड्डा भी राजेंद्र नगर से 3500 से ज्यादा वोट से आगे चल रहे हैं. राघव चड्डा लगातार अपनी बढ़त बढ़ा रहे हैं.

 

बल्लीमारान सीट से आप नेता और दिल्ली सरकार के मंत्री इमरान हुसैन ने करीब 1100 वोट की बढ़त बना ली है. अब बल्लीमारान सीट से कांग्रेस के दिग्गज नेता हारून यूसुफ बाहर होते हुए दिखाई दे रहे हैं. बीजेपी उम्मीदवार लत्ता सोढ़ी दूसरे नंबर पर चल रही हैं.

 

अलका लांबा चांदनी चौक सीट से पांच हजार वोट से पीछे चल रही हैं. आप उम्मीदवार प्रहलाद लगातार इस सीट से बढ़त बनाए हुए हैं. प्रहलाद सिंह इस सीट पर पांच बार के पूर्व विधायक रहे हैं. हाल ही में प्रहलाद कांग्रेस का साथ छोड़कर आम आदमी पार्टी में शामिल हुए थे.

 

पटपड़गंज सीट से मनीष सिसोदिया 112 वोट से आगे चल रहे हैं. मनीष सिसोदिया को टक्कर देने के लिए बीजेपी के रवि नेगी मैदान में हैं. मनीष सिसोदिया 2013 और 2015 में इस सीट से जीत दर्ज करने में कामयाब रहे हैं. शुरुआती रुझानों में मनीष सिसोदिया के कद को देखते हुए यह बढ़त काफी कम नज़र आ रही है.

 

बल्लीमारान सीट पर कांग्रेस को बड़ा झटका लगता हुआ दिखाई दे रहा है. कांग्रेस के दिग्गज नेता हारून यूसुफ तीसरे नंबर पर चल रहे हैं. शुरुआत में हारून यूसुफ बढ़त बनाए हुए थे. अभी बीजेपी उम्मीदवार लत्ता सोढ़ी 600 वोट से आगे चल रही है, जबकि आप उम्मीदवार इमरान हुसैन दूसरे नंबर पर हैं.

 

कालकाजी सीट आम आदमी पार्टी की उम्मीदवार आतिशी करीब 300 वोट से एक बार फिर पीछे चली गई है. आतिशी को बीजेपी उम्मीदवार धर्मवीर सिंह से कड़ी चुनौती मिल रही है. कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष सुभाष गुप्ता की बेटी शिवानी गुप्ता भी इसी सीट से चुनाव मैदान में हैं.

 

मुस्तफाबाद सीट से बीजेपी उम्मीदवार जगदीश प्रधान करीब 7 हजार वोट के अंतर से आगे चल रहे हैं. इस सीट से आप उम्मीदवार हाजी यूसुफ पीछे चल रहे हैं. 2015 में जगदीश प्रधान बीजेपी के तीन जीतने वाले उम्मीदवारों में से एक थे. हालांकि जगदीश प्रधान ने 2015 में बेहद ही कड़े मुकाबले में जीत दर्ज की थी.

 

राजेंद्र नगर सीट से आप उम्मीदवार राघव चड्डा 2300 वोट से बढ़त बनाए हुए हैं. राघव चड्डा को आप अपने युवा चेहरे के तौर पर पेश करती है. चुनाव प्रचार के दौरान भी राघव चड्डा काफी चर्चा में थे. ऐसे में राघव चड्डा का शुरुआती रुझानों में ही इतने बड़े अंतर से आगे चलना आप के लिए काफी अच्छी खबर है.

 

मंगोलपुरी सीट से आम आदमी पार्टी की युवा नेता राखी बिड़लान दो हजार वोट से आगे चल रही है. 2013 तक यह सीट कांग्रेस का गढ़ रही है, लेकिन 2013 में राखी बिड़लान ने कांग्रेस के गढ़ में दिग्गज नेता राज कुमार चौहान को हराकर सेंध लगा दी. राखी बिड़लान दो बार सीट से उम्मीदवार जीत चुकी है. कांग्रेस ने राजेश लिलोटिया को इस सीट से अपना उम्मीदवार बनाया है.

 

करावल नगर सीट पर बीजेपी लगातार बढ़त बनाए हुए है. बीजेपी उम्मीदवार मोहन कुमार बिष्ट इस सीट से 700 वोटों से अंतर से बढ़त बनाए हुए. आम आदमी पार्टी ने इस सीट पर केजरीवाल के करीबी नेताओं में से एक दुर्गुेश पाठक को उम्मीदवार बनाया है. 2015 में करावल नगर से आप के टिकट पर कपिल मिश्रा ने जीत दर्ज की थी.

 

बल्लीमारान सीट पर अब दिल्ली सरकार के मंत्री इमरान हुसैन आगे हो गए हैं. शुरुआत में पिछड़ने के बाद इमरान हुसैन मजबूत वापसी करते हुए दिख रहे हैं. इमरान को कांग्रेस के दिग्गज नेता हारून यूसुफ और बीजेपी की लत्ता सोढ़ी से टक्कर मिल रही है.

 

बीजेपी को रोहिणी से बड़ा झटका लगता हुआ दिख रहा है. रोहिणी से बीजेपी के दिग्गज नेता और नेता प्रतिपक्ष विजेंद्र गुप्ता 5 हजार वोट से पीछे चल रहे हैं. रोहिणी सीट बीजेपी का गढ़ माना जाता है. लेकिन इस बार विजेंद्र गुप्ता का जादू चलता नहीं दिख रहा है. हालांकि मॉडल टाउन से बीजेपी उम्मीदवाल कपिल मिश्रा आगे चल रहे हैं. कपिल मिश्रा ने आप से बीजेपी में पाला बदला है.

 

नई दिल्ली सीट से केजरीवाल करीब 2000 वोट के अंतर से आगे चल रहे हैं. शुरुआती रुझानों की बढ़त से लग रहा है कि नई दिल्ली सीट से केजरीवाल अपनी सबसे बड़ी जीत दर्ज कर सकते हैं. 2013 में केजरीवाल करीब 25 हजार वोट से और 2015 में करीब 34 हजार वोट से जीत दर्ज करने में कामयाब हुए थे.

 

बल्लीमारान सीट से बीजेपी उम्मीदवार लता सोढ़ी आगे चल रही है. लता सोढ़ी को दो मजबूत उम्मीदवारों की टक्कर का फायदा मिलता दिख रहा है. इस सीट कांग्रेस के दिग्गज नेता हारून यूसुफ और आप सरकार के मंत्री इमरान हुसैन भी मैदान में हैं.

 

मटिया महल सीट से आप उम्मीदवार शोएब इकबाल आगे चल रहे हैं. शोएब इकबाल इस सीट से पांच बार के विधायक रहे हैं. चुनाव की घोषणा होने के बाद शोएब इकबाल कांग्रेस छोड़कर आप में शामिल हुए. शोएब इकबाल पिछले चुनाव में चुनाव के टिकट पर मैदान में उतरे थे, लेकिन उन्हें हार का सामना करना पड़ा था.

 

कालकाजी सीट से आप उम्मीदवार आतिशी करीब 200 वोट से पीछे चल रही है. कालकाजी सीट से आतिशी का पीछे होना आप के लिए बड़ा झटका है, क्योंकि आतिशी पार्टी के सबसे उभरते हुए चेहरों में से एक हैं. इसके अलावा नजफगढ़ सीट से कैलाश गहलोत का लगातार पीछे रहना भी आप के लिए किसी बड़े झटके से कम नहीं है. कैलाश गहलोत केजरीवाल के करीबी नेताओं में से एक हैं.

 

ग्रेटर कैलाश से आम आदमी पार्टी के उम्मीदवार सौरव भारद्वाज आगे चल रहे हैं. सौरव भारद्वाज इस सीट पर दो बार जीत दर्ज कर चुके हैं. 2013 में सौरव पहली बार और 2015 में दूसरी बार इस सीट से जीत दर्ज की थी.

 

नई दिल्ली सीट से केजरीवाल लगातार बढ़त बनाए हुए हैं. केजरीवाल इस सीट से तीसरी बार किस्मत आजमा रहे हैं. केजरीवाल ने 2013 में दिल्ली की पूर्व सीएम शीला दीक्षित को हराकर इस सीट से जीत दर्ज की थी. 2015 में केजरीवाल इस सीट को बचाने में कामयाब रहे. हालांकि रुझानों में उनकी पार्टी का प्रदर्शन पिछले चुनाव के मुकाबले ज्यादा अच्छा नहीं कहा जा सकता, क्योंकि 67 सीटें जीतने वाली आम आदमी पार्टी 53 सीटों पर ही आगे चल रही है.

 

ओखला सीट से आम आदमी पार्टी के अमानतुल्लाह आगे चल रहे हैं. ओखला सीट पर शाहीन बाग में सीएए के खिलाफ चल रहे आंदोलन का प्रभाव देखने को मिल सकता है. शाहीन बाग इलाके के सभी पांचों पोलिंग बूथ ओखला सीट में ही आते हैं. शाहीन बाग में भारी मतदान भी देखने को मिला था.

 

जनकपुरी सीट से बीजेपी के आशीष सूद आगे चल रहे हैं. शुरुआती रुझानों में एग्जिट पोल सही साबित होते हुए दिखाई दे रहे हैं. एग्जिट पोल में अनुमान लगाया जा रहा था कि बीजेपी के आशीष सूद आम आदमी पार्टी से यह सीट छीन सकते हैं.

 

बल्लीमारन सीट से आम आदमी पार्टी के उम्मीदवार इमरान हुसैन का पीछे होना बड़ा झटका साबित हो सकता है. इमरान हुसैन दिल्ली सरकार में मंत्री हैं और कहीं ना कहीं आम आदमी पार्टी उन्हें अपने मुस्लिम चेहरे के तौर पर पेश करती है. बल्लीमारन सीट से पांच बार के विधायक रहे हारून यूसुफ का आगे होना कांग्रेस के लिए राहत की बात है. हारून यूसुफ इस सीट से पांच बार के विधायक हैं.

 

शुरुआती रुझानों में आम आदमी पार्टी काफी आगे निकल चुकी है. आम आदमी पार्टी 53 सीटों पर आगे चल रही है. बीजेपी के प्रदर्शन में पहले की तुलना में सुधार होता हुआ दिखाई दे रहा है. इस बार बीजेपी 16 सीटों पर आगे चल रही है, जबकि कांग्रेस भी खाता खोलते हुए एक सीट पर बढ़त बनाए हुए है. पिछले चुनाव में आप को 67 और बीजेपी को तीन सीट पर जीत मिली थी.

 

हरि नगर सीट से बीजेपी उम्मीदवार तेजेंद्र पाल बग्गा अब आगे चल रहे हैं. इस सीट पर सिख वोटर्स बड़ी तादाद में हैं. पहले यह सीट बीजेपी की सहयोगी शिरोमणि अकाली दल के खाते में जाती थी, लेकिन इस बार पार्टी के चुनाव नहीं लड़ने से बीजेपी ने आखिरी वक्त में तेजेंद्र पाल बग्गा को यहां से उम्मीदवार बनाने का फैसला किया.

 

कांग्रेस को राहत मिली है. बल्लीमारन सीट से कांग्रेस के दिग्गज नेता हारून यूसुफ आगे चल रहे हैं. हारून यूसुफ इस सीट से पांच बार के विधायक रहे हैं. हारून यूसुफ के सामने दिल्ली सरकार में मंत्री इमरान हुसैन की चुनौती है.

 

बाबरपुर से आम आदमी पार्टी के दिग्गज नेता गोपाल राय आगे चल रहे हैं. 2015 में गोपाल राय पहली बार इस सीट से चुनाव जीतने में कामयाब हुए थे. गोपाल राय दिल्ली यूनिट के संयोजक होने के अलावा आप सरकार में मंत्री भी हैं. आम आदमी पार्टी सरकार के एक और मंत्री सतेंद्र जैन भी शकूरबस्ती से आगे चल रहे हैं. एग्जिट पोल में सतेंद्र जैन को बीजेपी से मजबूत चुनौती मिलने का अनुमान लगाया जा रहा था.

 

रुझानों में आम आदमी पार्टी काफी आगे निकल चुकी है. आम आदमी पार्टी 56 सीटों पर आगे चल रही है, जबकि बीजेपी सिर्फ 14 सीटों पर आगे है. हालांकि बीजेपी के लिए अच्छी खबर है कि रोहिणी से उसके उम्मीदवार और नेता प्रतिपक्ष विजेंद्र गुप्ता आगे चल रहे हैं.

 

नई दिल्ली सीट से सीएम केजरीवाल आगे चल रहे हैं. केजरीवाल के सामने बीजेपी ने सुनील यादव को उम्मीदवार बनाया है. कांग्रेस ने इस सीट से रोमेश सभरवाल को टिकट दिया है. लेकिन केजरीवाल के राजनीतिक कद के सामने इन दोनों नेताओं का कद काफी छोटा है. केजरीवाल ने 2013 में शीला दीक्षित को हराकर इस सीट से जीत दर्ज की थी.

 

आम आदमी पार्टी ने राजेंद्र नगर सीट से राघव चड्डा को उम्मीदवार बनाया है. राघव चड्डा पोस्टल बैलेट की गिनती में आगे चल रहे हैं. राघव चड्डा को लोकसभा चुनाव में साउथ दिल्ली सीट से हार का सामना करना पड़ा था.

 

दिल्ली सरकार में डिप्टी मंत्री का पद संभालने वाले मनीष सिसोदिया आगे चल रहे हैं. मनीष सिसोदिया पटपड़गंज सीट 2013 और 2015 में चुनाव जीतने में कामयाब रहे हैं. मनीष सिसोदिया के सामने बीजेपी और कांग्रेस कोई मजबूत कैंडिडेट खड़ा कर पाने में कामयाब नहीं हो पाई.

 

कालकाजी से आम आदमी पार्टी की उम्मीदवार आतिशी आगे चल रही हैं. लोकसभा चुनाव में हार का सामना करने के बाद आतिशी का कालकाजी सीट से आगे चलना पार्टी के लिए राहत की बात हो सकती है. आतिशी को आम आदमी पार्टी शिक्षा सुधार का चेहरा बनाकर पेश करती रही है.

 

सीलमपुर सीट से आम आदमी पार्टी के मतीन अहमद पीछे चल रहे हैं. पोस्टल बैलेट की गिनती में कांग्रेस उम्मीदवार मतीन अहमद का पीछे रहना पार्टी के लिए बड़ा झटका साबित हो सकता है. मतीन अहमद 2015 में भी यह सीट नहीं बचा पाए थे. 2015 से पहले तक यह सीट लंबे समय तक कांग्रेस का गढ़ रही है.

 

करावल नगर सीट पर आम आदमी पार्टी को झटका लग सकता है. आम आदमी पार्टी ने करावल नगर सीट से दुर्गुश पाठक को उम्मीदवार बनाया है. लेकिन यहां से बीजेपी उम्मीदवार मोहन सिंह बिष्ट आगे चल रहे हैं. पिछले चुनाव में कपिल मिश्रा यहां से विधायक चुने गए थे.

 

बीजेपी नेता और विश्वास नगर से उम्मीदवार ओपी शर्मा आगे चल रहे हैं. पिछले चुनाव में बीजेपी के सिर्फ तीन विधायक चुन गए थे और ओपी शर्मा उनमें से एक हैं. ओपी शर्मा 2013 और 2015 में विश्वास नगर सीट से जीत दर्ज कर चुके हैं.

 

कांग्रेस के लिए 2020 के विधानसभा चुनाव बड़ा झटका साबित हो सकते हैं. कांग्रेस के सभी बड़े उम्मीदवार अरविंदर सिंह लवली, हारुन युसुफ, अलका लांबा, मतीन अहमद सभी अपनी-अपनी सीट से पीछे चल रहे हैं. दिल्ली सरकार के पूर्व मंत्री अशोक वालिया ने भी कृष्णा नगर से चुनाव लड़ने का फैसला किया, लेकिन वहां से भी वो पीछे चल रहे हैं.

 

आम आदमी पार्टी को नजफगढ़ सीट पर बड़ा झटका लग सकता है. दिल्ली सरकार में मंत्री कैलाश गहलोत पीछे चल रहे हैं. हालांकि अभी पोस्टल बैलेट की गिनती हो रही है. इससे पहले सामने आए एग्जिट पोल्स में भी नजफगढ़ सीट पर कड़ी टक्कर होने के अनुमान लगाए जा रहे हैं.

 

दिल्ली विधानसभा स्पीकर रामनिवास गोयल अपनी सीट शाहदरा से आगे चल रहे हैं. पिछले चुनाव में रानविनास गोयल इसी सीट से चुनाव जीतकर विधानसभा स्पीकर बनने में कामयाब रहे थे. जो एग्जिट पोल सामने आए थे उनमें अनुमान लगाया जा रहा था कि रामनिवास गोयल इस सीट को बचाने में कामयाब हो जाएंगे.

 

आम आदमी पार्टी के तिमारपुर से उम्मीदवार दिलीप पांडे पीछे चल रहे हैं. दिलीप पांडे पहली बार विधानसभा चुनाव में किस्मत आजमा रहे हैं. हालांकि पिछले साल लोकसभा चुनाव में भी दिलीप पांडे को हार का सामना करना पड़ा था. दिलीप पांडे पूर्व में दिल्ली यूनिट के संयोजक भी रह चुके हैं.

 

बीजेपी उम्मीदवार तेजेंद्र पाल बग्गा हरि नगर से पीछे चल रहे हैं. शुरुआती रुझानों में आम आदमी पार्टी के उम्मीदवार की आगे चलने की खबर है. चुनाव प्रचार के दौरान बग्गा काफी चर्चा में रहे थे. ऐसे में उनका पीछे रहना बीजेपी के लिए बड़ा झटका साबित हो सकता है.

बैकग्राउंड

दिल्ली विधानसभा चुनाव 2020: दिल्ली की सभी 70 विधानसभा सीटों के नतीजों सामने आने शुरू हो गए हैं. नतीजों के साथ ना सिर्फ नई सरकार की तस्वीर साफ होगी, बल्कि आम आदमी पार्टी, बीजेपी और कांग्रेस के दिग्गज चेहरों के भविष्य का फैसला भी होगा. आम आदमी पार्टी के नेता अरविंद केजरीवाल नई दिल्ली से तीसरी बार किस्मत आजमा रहे हैं. वहीं बीजेपी नेता विजेंद्र गुप्ता की किस्मत रोहिणी सीट से दांव पर लगी है. कांग्रेस के अरविंदर सिंह लवली भी गांधी नगर सीट से मैदान में है.

 

इन दिग्गज नेताओं के अलावा आम आदमी पार्टी के युवा चेहरे आतिशी और राघव चड्डा भी मैदान में है. वहीं आम आदमी पार्टी से कांग्रेस में शामिल होने वाली अलका लांबा की किस्मत भी तय होगी. दिल्ली सरकार में मंत्री रहे सतेंद्र जैन, गोपाल राय, इमरान हुसैन जैसे दिग्गज नेताओं की किस्मत भी दिल्ली चुनाव में दांव पर लगी है.

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