स्वच्छता अभियान के उलट हकीकत …. ? जहां लिखा थूकना मना है, वहीं पीक मारते हैं लोग …
आज तक जुर्माना किसी पर नहीं हुआ
सरकार भले ही स्वच्छता अभियान चला कर सफाई के दावे और प्रयास करे लेकिन सच्चाई तो यह है कि सरकार के नुमाइंदे ही इस अभियान को पलीता लगाने से नहीं चूक रहे। रही सही कसर कुछ लोग पूरी कर देते हैं, जो सफाई का मतलब ही नहीं समझते। सरकारी कार्यालयों में स्वच्छता अभियान का पालन कितना और किस प्रकार होता है, इसकी हकीकत मौ नगर के तहसील कार्यालय की दीवारों पर लगे चेतावनी नोटिस बता रहा है।
स्थिति यह है कि चेतावनी नोटिस चस्पा होने के बाद भी विभागीय कर्मचारी और लोग रोजाना पान और गुटखे की पीक दीवारों पर थूक रहे हैं। गौरतलब है कि स्वच्छ भारत अभियान के तहत तहसील कार्यालय भवन के अंदर दीवारों पर पान-गुटखा न थूकने के चेतावनी वाले नोटिस पर्चे चस्पा किए गए थे। लेकिन इस चेतावनी का लोगों पर कोई असर होता हुआ दिखाई नहीं दे रहा है।
कार्यालय में काम करने वाले कर्मचारी और काम के सिलसिले में आने वाले लोग रोजाना दीवारों पर पान-गुटखा थूक रहे हैं। जिसके चलते दीवारें और उनके कोने पूरी तरह से लाल हो चुके हैं। वहीं विभागीय अधिकारी रोजाना अपने दफ्तर में जाते समय इन दीवारों को देखते हैं, लेकिन इन दीवारों की सफाई करना शायद उन्हें उचित नहीं लगता।
कार्यालय की दीवारें लाल
तहसील कार्यालय की तरह ही नगर परिषद की दीवारें भी पान और गुटखे की पीक से लाल हो चुकी हैं। स्थिति यह है कि परिषद भवन की दीवारें और कोने लोगों के लिए पीकदान बन चुकी हैं। खास बात यह है कि कई बार तो परिषद के अधिकारी दीवारों पर पान और गुटखे के दाग मिटने के लिए दीवारों की रंगाई-पुताई करा चुके हैं। लेकिन उसके बाद भी लोग फिर से उसी स्थान पर थूकने लगते हैं।
सड़कें भी हुईं बदरंग
कोरोना महामारी की पहली लहर के दौरान प्रशासन द्वारा सार्वजनिक स्थानों पर थूकने पर प्रतिबंध लगा दिया था, जो आज भी लगा हुआ है। साथ ही थूकते हुए पकड़े जाने पर एक हजार रुपए का जुर्माने का प्रावधान भी किया गया था। लेकिन नगर के लोगों प्रशासन के आदेश को नजरअंदाज करते हुए बाजार की सड़कों पर कहीं भी पान-गुटखा और सुपारी खाकर थूक देते हैं। सबसे ज्यादा खराब स्थिति बस स्टैंड की हो चुकी है।
किसी पर नहीं लगा जुर्माना
तहसील कार्यालय में जो चेतावनी भरे नोटिस चस्पा किए गए थे, उन पर स्पष्ट तौर पर लिखा गया था, कि कार्यालय की दीवारों पर पान-गुटखा थूकने पर एक हजार रुपए का जुर्माना वसूला जाएगा, लेकिन विभाग द्वारा अभी तक किसी भी व्यक्ति से जुर्माना नहीं वसूला गया है।
चुनाव बाद कार्रवाई करेंगे
स्वच्छता बनाए रखना प्रत्येक नागरिक की जिम्मेदारी है। लेकिन लोग इस बात को समझ नहीं रहे हैं। मैं चुनाव बाद कार्यालय की दीवारों पर थूकने वाले कर्मचारियों और आम लोगों पर जुर्माने की कार्रवाई की जाएगी। -रिषिकांत जैन, नायब तहसीलदार, मौ