भिंड नपा के 51 प्रतिशत केंद्र क्रिटिकल इनमें 38 केंद्रों पर सामान्य वर्ग का बाहुल्य

भिंड : विवाद की स्थिति …?
नगरीय निकाय चुनाव के दूसरे चरण में शामिल जिला मुख्यालय की भिंड नगरपालिका क्षेत्र में 13 जुलाई, बुधवार को मतदान होगा। मतदान के लिए भिंड नगरपालिका क्षेत्र में 174 मतदान केंद्र बनाए गए हैं, जिसमें 51 फीसदी यानि 88 केंद्रों को संवेदनशील और अतिसंवेदनशील की श्रेणी में रखा गया है। खास बात तो यह है कि क्रीटिकल मतदान केंद्रों में 38 ऐसे हैं जो सामान्य वर्ग बाहुल्य वाले क्षेत्र में हैं। बता दें कि भिंड नगरपालिका क्षेत्र में 39 वार्ड हैं। इन वार्डों से पार्षद पद पर 222 प्रत्याशी चुनाव मैदान में उतरे हैं। वहीं इन 222 प्रत्याशियों में से भिंड नगरपालिका क्षेत्र में निवासरत एक लाख 52 हजार मतदाता 13 जुलाई को 39 पार्षदों का चुनाव करने के लिए मतदान करेंगे। इस मतदान को शांतिपूर्ण संपन्न कराने के लिए प्रशासन ने पहले ही मतदान केंद्रों को सामान्य, संवेदनशील और अतिसंवेदनशील तीन श्रेणियों में विभक्त किया है। ताकि उसी प्रकार से इन केंद्रों पर सुरक्षा के लिहाज से पुलिस बल की तैनाती की जाएगी।

आखिरी दिन निकाली चुनावी रैलियां
चुनाव प्रचार के अंतिम दिन प्रत्याशियों ने पूरी ताकत झोंक दी। सुबह से ही प्रत्याशियों ने माइक लेकर गलियों में शक्ति प्रदर्शन करते हुए जहां रैलियां निकाली। वहीं घर- घर जाकर मतदाताओं से आशीर्वाद मांगा। चुनावी रैलियों प्रत्याशियों ने अपनी खूबी और वार्ड को लेकर अपने विजन का खूब बखान किया। हालांकि यह सिलसिला सोमवार की शाम पांच बजते ही थम गया।

बाहररह रहे मतदाताओं को भेजा बुलावा
नगरीय निकाय चुनाव में एक-एक वोट की बहुत कीमत मानी जाती है। ऐसे में ज्यादातर सभी प्रत्याशियों ने मतदाता सूची में से यह भी छांट लिया है कि उनके यहां कौन-कौन से मतदाता शहर से बाहर निवास कर रहे हैं। ऐसे मतदाताओं को मतदान के लिए प्रत्याशियों ने बुलाया भेज दिया है। वहीं कुछेक ने तो उनके टिकट तक बुक करा दिए हैं। ताकि किसी भी प्रकार से उनके पक्ष में अधिक से अधिक मतदान हो सके।

19 केंद्र ऐसे जहां दो जाति के लोग समान रूप से करते हैं निवास
प्रशासन द्वारा भिंड शहर में 174 मतदान केंद्रों में से चिंहित किए गए 19 केंद्रों को संवेदनशील और अतिसंवेदनशील श्रेणी में रखा गया है। यह वे केंद्र हैं जहां दो जाति के लोग समान रुप से निवास करते हैं। ऐसे में इस केंद्र पर विवाद की स्थिति निर्मित होने की संभावना के चलते प्रशासन ने उन्हें क्रिटिकल श्रेणी में रखा है।

इसी प्रकार से 16 केंद्रों को इसलिए क्रिटिकल की श्रेणी में रखा गया है कि वहां आपराधिक अथवा असमाजिक तत्व निवास करते हैं। वहीं कुछ ऐसे हैं जहां जाति विशेष के लोगों को बाहुल्य अथवा वहां पहले विवाद हो चुका है।

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