अतीक अहमद पर छाया योगी का खौफ
अतीक को करीब दो हफ्ते पहले उमेश पाल की किडनैपिंग के केस में पेशी के लिए प्रयागराज इसी तरह लाया गया था।
दर्जनों लोगों को मौत की नींद सुलाने वाला गैंगस्टर अतीक अहमद मंगलवार को एक बार फिर यूपी पुलिस की गाड़ियों के काफिले में गुजरात की साबरमती जेल से प्रयागराज की अदालत में पेश होने के लिए रवाना हुआ। अतीक को करीब दो हफ्ते पहले उमेश पाल की किडनैपिंग के केस में पेशी के लिए प्रयागराज इसी तरह लाया गया था। अतीक अहमद के चेहरे पर खौफ के निशान साफ नजर आ रहे थे। जेल वैन के अंदर से पत्रकारों से बात करते हुए गैंगस्टर ने कहा, ‘आप लोग हो तो डर नहीं लग रहा है ।’ कई हत्याओं में शामिल अतीक ने बड़ी बेशर्मी से कहा, ‘सरकार ने कहा था, मिट्टी में मिला दिया जाएगा, हम बिल्कुल मिट्टी में मिल गये हैं। अब तो मिट्टी में मिलने के बाद रगड़ा जा रहा है। मेरे परिवार को परेशान किया जा रहा है। मैं आप लोगों की वजह से सुरक्षित हूं।’ उम्मीद तो यही है कि अतीक सुरक्षित प्रयागराज की नैनी जेल तक पहुंच जाएगा, लेकिन जब तक नहीं पहुंचेगा, तब तक उसकी सांसें अटकी रहेंगी। उसे लगता है गाड़ी कहीं भी पलट सकती है, उसे डर है एक्सीडेंट कभी भी हो सकता है। अपराधियों में कानून का, पुलिस का, सरकार का ऐसा खौफ कुछ मामलों में जरूरी होता है, और माफिया में यह डर योगी आदित्यनाथ ने पैदा किया है। यह योगी की बड़ी कामयाबी है। इससे पहले की सरकारों में अपराधियों पर कार्रवाई उनकी क्राइम लिस्ट के हिसाब से नहीं, उनकी जाति और मजहब देख कर होती थी। अपराधियों के खौफ का इस्तेमाल वोट बटोरने में होता था। इसलिए अतीक अहमद हों या मुख्तार अंसारी, जिसकी सरकार होती थी ये उसके साथ हो लेते थे और बचे रहते थे। अब बड़े माफिया हों या छोटे-मोटे अपराधी, सबकी क्राइम कुंडली की तहकीकात की जा रही है। जिसकी फाइल खुली या तो वह गले में तख्ती लटका थाने पहुंच गया, या फिर यूपी की सरहद से बाहर हो गया। यूपी में पुलिस को खुली छूट दी गई है। पिछले 6 साल में योगी के राज में, 23 मार्च तक 10,713 एनकाउंटर हो चुके हैं जिनमें 178 खूंखार अपराधी मारे जा चुके हैं और 23,069 अपराधियों को गिरफ्तार किया गया है। अतीक अहमद इन्हीं आंकड़ों को देखकर डर रहा है। यह डर यूपी के लिए, और वहां के लोगों के लिए अच्छा है। आज यूपी में लोग अपने आप को सुरक्षित महसूस करते हैं। इसका श्रेय योगी को जाता है।