बैरी मोबाइल बढ़ा रहा डिवोर्स:पोर्न वीडियो देखने वालों की टूट रही शादियां, रेड जोन में पहुंच चुकी शादी को बचाने के 5 तरीके
- हो सकता है रिश्ते स्वर्ग में बनते हो लेकिन धरती पर बनाए रखना कपल के हाथ में होता है।
- दोनों मिलकर बिखर रहे रिश्ते काे समेटने की कोशिश करें।
सात जन्मों के बंधन के रूप में मानी जाने वाली शादी अब दिन, हफ्तों और महीनों में टूटने लगी है। इसकी वजहों को समझते हुए क्यों न इस अहम रिश्ते को बचा लिया जाए।

विलेन मोबाइल से बचें
साल 2018 में हुई स्टडी के अनुसार करीब 17% शादियां मोबाइल फोन की वजह से टूटीं। इस अध्ययन में मोबाइल को रिलेशनशिप का इलेक्ट्रॉनिक दुश्मन कहा गया है। केरल के साइकोलॉजिस्ट डॉ. जॉन ज़कारिया के अनुसार डिवोर्स तक पहुंचे ज्यादातर लोगों का मानना था कि उनकी शादी का विलेन मोबाइल है।
पॉपुलर मलयालम टीवी चैनल अमृता के एक प्रोग्राम में अलग रह रहे, डिवोर्सी और मैरिड लाइफ के उलझन में फंसे लोग आते हैं। प्रोग्राम में हिस्सा लेने वाले 80% लोगों ने स्वीकारा कि उनकी शादियां एक्सट्रा मैरिटल अफेयर की वजह से टूटी। पति या पत्नी के रहते दूसरे से दिल लगाने के लिए उन्होंने मोबाइल का इस्तेमाल किया था। इनमें से बहुतों ने वॉट्सऐप, फेसबुक, इंस्टाग्राम, डेटिंग साइट्स पर विवाहेत्तर संबंधों को बढ़ाया, नतीजा तलाक के रूप में सामने आया।

पोर्नोग्राफी भी करा रहा डिवोर्स
न्याय मंत्रालय की एक रिपोर्ट के अनुसार डिवोर्स के मामले में यूपी के बाद केरल दूसरे स्थान पर है। इसकी कई वजहों में से एक पोर्नोग्राफी भी एक है।केरल के कोच्चि शहर को क्राइम के साइबर हब के रूप में देखा जाता है। बेंगलुरु की रेवा यूनिवर्सिटी में हुए अध्ययन के मुताबिक केरल पोर्न उत्पादन का सबसे बड़ा गढ़ है।
पोर्नोग्राफी और डेटिंग ऐप्स ने पुरुषों में सेक्सुअल फैंटसी को लेकर दिलचस्पी बढ़ाई। इस वजह से सेक्स को लेकर इनकी चाहतों में नकारात्मक और हिंसात्मक बदलाव आए हैं। इन लतों के आदी हो चुके पति चाहते हैं कि उनकी पत्नी बेड पर उसी तरह से बिहेव करे। अगर पति की इच्छा पूरी नहीं हो पाती है, तो वह एक्सट्रा मैरिटल रिश्ते में चला जाता है, जिसका नतीजा तलाक के रूप में सामने आता है।

दूसरे देशों से बेहतर, पर डरना जरूरी है
हालांकि इस बात पर इतराया जा सकता है कि बहुत सारे दूसरे देशों की तुलना में भारत में डिवोर्स रेट अभी भी बहुत कम है। डिवोर्स के कारणों में शादी के बाद के अफेयर और कम्युनिकेशन गैप को भी बड़ा कारण बताया गया।
साल 2019 में डिवोर्स लेने वाली दक्षिण भारत की एक शिक्षिका ने बताया कि उसका पति दिन में एक से दो मिनट के लिए ही उससे बात करता था। यह भी पाया गया कि पति-पत्नी के बीच रिश्तेदारों के हस्तेक्षप की वजह से भी शादियां टूटी। इस तरह से टूटने वाली शादियां 8% के करीब थीं।

मैरिज की प्रॉब्लम सॉल्व : सारथी काउंसलिंग सर्विसेज की साइकोलॉजिस्ट शिवानी मिसरी साहू के अनुसार :
शादी टूटने के सिग्नल को समझें
1.जब पति- पत्नी के बीच किसी भी बात की शुरुआत ही तानाकशी से हो। बातचीत में दोनों एक-दूसरे का मजाक उड़ाने की कोशिश कर रहे हों।
2.जब आपको महसूस हो कि अब पार्टनर की आलोचनाएं आपको भीतर तक आहत कर दे रही है। उससे मिली निगेटिविटी असहनीय लगने लगे।
3.पार्टनर से छोटी-मोटी बातों पर बहस करते समय दिल की धड़कन तेज हो जाए।

रेड जोन में पहुंच चुकी शादी को ऐसे बचाएं :
1.अगर लगता है कि शादी को बचाना आपके वश से बाहर की बात हो चुकी है, तो बेहिचक किसी प्रोफेशनल की मदद लें।
2.एक-दूसरे को इज्जत दें। बात-बात पर बहस करने से बचना जरूरी है। यह तभी संभव होगा जब दूसरे को सम्मान देना शुरू करेंगे।
3.ऑनलाइन डेटिंग या पोर्न आपको लुभाने लगा है, तो पार्टनर से कहकर इसका हल निकालें। भरोसेमंद लोगों या प्रोफेशनल एक्सपर्ट की मदद लेने से न झिझकें।
4.पार्टनर डिवोर्स चाहता है, तो उसके कारणों को समझें। कई बार कम्युनिकेशन की कमी भी तलाक की वजह बन जाती है।
5. शादी बचाने को लेकर सीरियस हैं, तो अपनी गलतियों को स्वीकारें। आपकी इज्जत और बढ़ जाएगी। रिश्ता पहले से मजबूत होगा