इंदौर में ऑटो रिक्शा और वैन में बैठा रहे क्षमता से अधिक स्कूली बच्चे !
इंदौर में डिवाइटर से टकराकर ऑटो रिक्शा पलटने से उसमें सवार एक स्कूली बच्चे की मौत हो गई है। इस मामले में परिवहन विभाग और यातायात विभाग सहित प्रशासन की बड़ी लापरवाही सामने आ रही है। हर दिन शहर में ऑटो रिक्शा और वैन में जरूरत से ज्यादा स्कू्ली बच्चों को बैठाकर स्कूल लाया ले जाया जा रहा है।

- इंदौर में स्कूली बच्चों की जान के साथ खिलवाड़।
- वाहनों में ढूस-ढूसकर बैठाए जाते हैं स्कूली बच्चे।
- प्रशासन और पुलिस नहीं देती है इस ओर ध्यान।
इंदौर(Indore News)। इंदौर शहर के 600 से ज्यादा स्कूलों में बच्चों को लाने-ले जाने के लिए स्कूल बसों के साथ ही ऑटो रिक्शा और वैन का इस्तेमाल भी किया जा रहा है। इनमें क्षमता से अधिक संख्या में बच्चे बैठाए जा रहे हैं। प्रशासन, परिवहन विभाग और यातायात विभाग की अनदेखी के कारण ओवर लोडिंग नहीं रुक रही है।
नतीजा ऑटो-रिक्शा में बच्चों की जान का जोखिम हमेशा रहता है। इन पर लगाम नहीं लग पा रही है। स्कूल संचालक भी जोखिम को नजरअंदाज कर रहे हैं। परिवहन विभाग द्वारा स्कूली वाहनों की जांच के लिए लगातार अभियान चलाया जा रहा है।
इसके बावजूद वाहनों में क्षमता से अधिक बच्चे बैठाए जा रहे हैं। शहर की सड़कों पर सुबह होते ही ऑटो रिक्शा और वैन में क्षमता से अधिक बच्चों को बैठा कर अंधाधुंध दौड़ाया जाता है। एक से अधिक फेरे लगाने के चक्कर में बच्चों की जान के साथ खिलवाड़ किया जा रहा है।
इसी का नतीजा है कि मंगलवार को ऑटो पलटने से एक बच्चे की मौत हो गई। प्रशासन ने गैर पंजीकृत वाहनों की सूची स्कूलों को बनाने के निर्देश दिए थे, यह सूची भी अब तक नहीं बन सकी है।