कोलकाता: करोड़ों की जब्ती मामले में आमिर खान का दुबई कनेक्शन!

ED जांच में खुलासा ….
कोलकाता में मोबाइल गेमिंग ऐप के माध्यम से करोड़ों रुपये के फ्रॉड के मामले में आरोपी आमिर खान का दुबई कनेक्शन सामने आया है. ईडी के अधिकारी उसके विदेश दौरे की जानकारी तलाश कर रहे हैं.

कोलकाता में मोबाइल गेमिंग ऐप के मामले में ईडी की छापेमारी के बाद करोड़ों रुपये की जब्ती के मामले में अब दुबई कनेक्शन सामने आ रहा है. ईडी ने मूल आरोपी निसार अहमद खान के बेटे आमिर खान के बैंक खातों और विदेश टूर का रिकॉर्ड खंगालना शुरू कर दिया है. प्राथमिक रूप मिले तथ्य के अनुसार आमिर खान प्रायः ही विदेश दौरा करता था और उसने अपने सफर की शुरुआत कॉल सेंटर में नौकरी करते हुए शुरू की थी, लेकिन धीरे-धीरे और ऑनलाइन मोबाइल गेम के गुर को सीख गया था और फिर उस इस खेल का मास्टर माइंड बन गया था.

न्यूटाउन के एक डुप्लेक्स से चलता था खेल का धंधा

बता दें कि आमिर खान का ऑफिस न्यूटाउन के एक डुप्लेक्स में था. वहीं से खेल का धंधा चलता था. कुछ साथी हमेशा मौजूद रहते थे. ईडी को पता चला है कि गेम कारोबार बंद करने के बाद इससे जुड़े सभी गैजेट्स को हटा दिया गया है. आमिर हमेशा से टेक सेवी था. पहले कॉल सेंटर में काम करता था और वहीं रहकर उसने ऐप्स बनाना शुरू किया था. ईडी ने कहा कि सबसे पहले प्राथमिकी कोलकाता की एक अदालत में फेडरल बैंक के अधिकारियों की ओर से दायर एक शिकायत के आधार पर पार्क स्ट्रीट थाने में दर्ज की गई थी. जांच एजेंसी ने आरोप लगाया कि निसार अहमद खान के बेटे आमिर खान ने गेमिंग ऐप ई-नग्गेट्स की शुरुआत की और यह गेम लोगों के साथ धोखाधड़ी करने के इरादे से डिजाइन किया गया.

आमिर खान के दुबई घूमने का ईडी को मिले सबूत

सूत्रों ने बताया कि एजेंसी इस बात की जांच कर रही है कि इस ऐप और इसके संचालकों का संपर्क कहीं चीन के नियंत्रण वाले ऐप से तो नहीं है. आमिर के सभी बैंक खातों की तलाशी ली गई है. आमिर की विदेश यात्रा पर भी ईडी की नजर है. आमिर ने कई बार विदेश यात्रा की थी. वह कहां-कहां गया था. इसकी जानकारी इमिग्रेशन विभाग से मांगी जाएगी. ईडी सूत्रों के मुताबिक, उसने एक कॉल सेंटर में काम करने के बाद अपना खुद का कॉल सेंटर खोला. जुनैद उसका साथी थाय. उसने कॉल सेंटर चलाने के अलावा 2019 में एक गेम ऐप भी लॉन्च किया. सूत्रों के मुताबिक आमिर को दुबई घूमने का लिंक मिल गया है.

ईडी ने जांच के दौरान खोला मोबाइल गेमिंग ऐप का राज

एजेंसी ने कहा कि शुरुआती दौर में इस्तेमालकर्ताओं को एक कमीशन दिया जाता था और वॉलेट में मौजूद राशि को बिना किसी दिक्कत के निकाला जा सकता था. इसने कहा, इससे यूजर्स का भरोसा इस पर जम गया और उन्होंने अधिक कमीशन बनाने तथा बड़ी तादाद में खरीदारी के लिए और अधिक निवेश करना शुरू किया. ईडी ने कहा कि जनता से ठीकठाक राशि एकत्र कर लेने के बाद इस ऐप से इसकी निकासी को सिस्टम अपग्रेडेशन अथवा कानून प्रवर्तन एजेंसियों की जांच का बहाना बनाकर अचानक इसे रोक दिया गया और बाद में प्रोफ़ाइल जानकारी सहित सभी डेटा को ऐप सर्वर से मिटा दिया गया. ईडी ने कहा कि इसके बाद उपयोगकर्ताओं को इसकी चाल समझ में आई.”

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