अडानी ग्रुप के 7 महीने में डूब गए 9 लाख करोड़ रुपए

अडानी ग्रुप के पीछे पड़ा अमेरिकी ‘भूत’, 7 महीने में डूब गए 9 लाख करोड़ रुपए
हिंडनबर्ग रिसर्च रिपोर्ट के बाद अब ओसीसीआरपी की रिपोर्ट सामने आई है, जिसमें अडानी ग्रुप पर गंभीर आरोप लगे हैं. रिपोर्ट आने के बाद अडानी ग्रुप के शेयरों में भारी गिरावट भी देखने को मिली है. अगर बात 7 महीनों की करें तो ग्रुप को 9 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा का नुकसान हो चुका है.

अडानी ग्रुप से अमेरिकी ‘भूत’ का साया पीछे छूटने का नाम नहीं ले रहा है. दरअसल हम यहां ‘भूत’ के साये की बात इसलिए कर रहे है कि अगर भूत किसी के पीछे पड़ जाए तो जीना मुहाल कर देता है. 23 जनवरी 2023 से कुछ ऐसा ही ‘भूत’ अडानी ग्रुप के पीछे पड़ा है. पहले हिंडनबर्ग का भूत..अब एक नए रिपोर्ट की वजह से अडानी ग्रुप के शेयर क्रैश हो गए और ग्रुप को मोटा नुकसान हुआ. अब अडानी ग्रुप के पीछे एक और अमेरिकी कंपनी ओसीसीआरपी पीछे पड़ गई है. ओसीसीआरपी यानी ऑर्गेनाइजड क्राइम एंड करप्शन रिपोर्टिंग प्रोजेक्ट ने अडानी ग्रुप पर काफी गंभीर आरोप लगाए हैं.

पहले हिंडनबर्ग रिसर्च और अब ओसीसीआरपी की रिपोर्ट ने अडानी ग्रुप को काफी नुकसान पहुंचा दिया है. अगर बात आज ही करें तो कारोबारी सत्र के दौरान ग्रुप के मार्केट कैप को 35 हजार करोड़ रुपये से ज्यादा का नुकसान हो चुका था. 23 जनवरी के बाद यानी हिंडनबर्ग रिसर्च की रिपोर्ट के बाद से अडानी ग्रुप को 9 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा का नुकसान हो चुका है. आइए आपको आज इसी सफर पर चलते हैं और समझने की कोशिश करते हैं कि आखिर पूरा मामला क्या है?

ओसीसीआरपी की रिपोर्ट में गंभीर आरोप

ऑर्गेनाइजड क्राइम एंड करप्शन रिपोर्टिंग प्रोजेक्ट (ओसीसीआरपी) ने अडानी ग्रुप पर निशाना साधते हुए आरोप लगाया है कि उसके प्रमोटर फैमिली के पार्टनर्स से जुड़ी विदेशी यूनिट्स के जरिए अडानी ग्रुप के शेयरों में करोड़ों डॉलर का इंवेस्टमेंट किया है. अडानी ग्रुप पर ऐसे समय में आरोप लगे हैं, जब 7 महीने पहले अमेरिकी शॉर्ट सेलर कंपनी हिंडनबर्ग ने ग्रुप अकाउंटिंग फ्रॉड और शेयरों की कीमत मैनुपुलेशन का के साथ विदेशी यूनिट्स के अनुचित उपयोग का आरोप लगाया था. इन आरोपों के बाद ग्रुप के शेयरों में बड़ी गिरावट आई थी.

कई टैक्स हेवन की फाइलों और अडानी ग्रुप के कई इंटरनल ईमेल की समीक्षा का हवाला देते हुए ओसीसीआरपी ने कहा कि उसकी जांच में कम से कम दो मामले पाए गए जहां अज्ञात निवेशकों ने ने ऐसी विदेशी यूनिट्स के माध्यम से अडानी ग्रुप के शेयर खरीदे और बेचे है. ‘टैक्स हेवन’ में उन देशों को रखा जाता है, जहां पर दूसरे देशों के मुकाबले काफी कम टैक्स लिया जाता है.

ओसीसीआरपी ने दावा किया कि नासिर अली शाबान अहली और चांग चुंग-लिंग नाम के दो लोगों के अडानी परिवार के साथ लंबे समय से कारोबारी रिश्ते हैं. उन्होंने गौतम अडानी के बड़े भाई विनोद अडानी से जुड़ी ग्रुप कंपनियों में डायरेक्ट और शेयर होल्डर के रूप में काम भी किया है.

ओसीसीआरपी का आरोप है कि इन लोगों ने विदेशी यूनिट्स के जरिए कई वर्षों तक अडानी के शेयर खरीदे व बेचे और इससे काफी मुनाफा कमाया है. वैसे उनकी भागीदारी पूरी तरह से स्पष्ट नहीं है. उसने आरोप लगाया कि डॉक्युमेंट्स ने जानकारी मिली है कि उनके इंवेस्टमेंट की प्रभारी प्रबंधन कंपनी ने गौतम अडानी के बड़े भाई विनोद अडानी की कंपनी को उनके निवेश में सलाह देने के लिए भुगतान किया था.

अडानी ग्रुप ने इस खबर का किया खंडन

अडानी ग्रुप ने एक बयान में स्पष्ट रूप से इनका खंडन करते हुए कहा कि इसमें पुराने आरोपों को अलग तरीके से दोबारा रखा गया है. ग्रुप ने इसे विदेशी मीडिया की एक साजिश करार देते हुए कहा कि हिंडनबर्ग रिपोर्ट को दोबारा से जिंदा करने का प्रयास किया है. अडानी ग्रुप ने कहा कि ये दावे एक दशक पहले बंद हो चुके मामलों पर बेस्ड हैं जब डीआरआई ने अधिक चालान, विदेश में फंड ट्रांसफर, रिलेटिड पार्टी ट्रांजेक्शन और एफपीआई के जरिए निवेश के आरोपों की जांच की थी.

एक स्वतंत्र निर्णायक प्राधिकारी और एक अपीलीय न्यायाधिकरण दोनों ने पुष्टि की थी कि कोई अधिक वैल्यूएशन नहीं था और ट्रांजेक्शन पूरी तरह से लीगल थे. ग्रुप की ओर से कहा गया कि मार्च 2023 में मामले को अंतिम रूप दिया गया जब देश की सुप्रीम कोर्ट ने हमारे पक्ष में फैसला सुनाया. स्पष्ट रूप से, चूंकि कोई अधिक मूल्यांकन नहीं था, इसलिए फंड ट्रांसफर को लेकर इन आरोपों की कोई रेलेवेंसी या बेस नहीं है.

अडानी ग्रुप के शेयरों में गिरावट
  1. अडानी इंटरप्राइजेज के शेयर 3.72 फीसदी यानी 93.60 रुपये की गिरावट के साथ 2420 रुपये पर बंद हुए.
  2. अडानी पोर्ट एंड एसईजेड के शेयर 3.32 फीसदी यानी 27.20 रुपये की गिरावट के साथ 791.80 रुपये पर बंद हुए.
  3. अडानी पॉवर के शेयर 2.01 फीसदी यानी 6.60 रुपये की गिरावट के साथ 321.80 रुपये पर बंद हुए.
  4. अडानी एनर्जी सॉल्यूशंस के शेयर 3.30 फीसदी यानी 27.80 रुपये की गिरावट के साथ 813.95 रुपये पर बंद हुए.
  5. अडानी ग्रीन एनर्जी के शेयर 4.39 फीसदी यानी 42.60 रुपये की गिरावट के साथ 928.05 रुपये पर बंद हुए.
  6. अडानी टोटल गैस के शेयर 2.59 फीसदी यानी 16.90 रुपये की गिरावट के साथ 635.60 रुपये पर बंद हुए.
  7. अडानी विल्मर के शेयर 2.56 फीसदी यानी 9.45 रुपये की गिरावट के साथ 359.50 रुपये पर बंद हुए.
  8. एसीसी लिमिटिड के शेयर 0.47 फीसदी यानी 9.40 रुपये की मामूली तेजी के साथ 2009.55 रुपये पर बंद हुए.
  9. अंबूजा सीमेंट्स के शेयरों 3.53 फीसदी यानी 15.70 रुपये की गिरावट के साथ 428.50 रुपये पर बंद हुए.
  10. एनडीटीवी के शेयर 2.10 फीसदी यानी 4.60 रुपये की गिरावट के साथ 214.60 रुपये पर बंद हुए.
अडानी ग्रुप को कितना हो गया नुकसान

अडानी ग्रुप के शेयरों में आज दिनभर गिरावट की वजह से कारोबारी सत्र के दौरान 35 हजार करोड़ रुपये से ज्यादा की के नुकसान की सूचना थी. अगर बात बीते 7 महीने यानी हिंडनबर्ग रिसर्च रिपोर्ट के बाद से करें तो अडानी ग्रुप को मोटा नुकसान हो चुका है. आंकड़ों के अनुसार 23 जनवरी को अडानी ग्रुप का मार्केट कैप 19 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा था. जोकि मौजूदा समय में 10 लाख करोड़ रुपये के आसपास आ चुका है. इसका मतलब है कि अडानी ग्रुप के मार्केट कैप से 9 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा साफ हो चुके हैं. जानकारों की मानें तो शुक्रवार को भी अडानी ग्रुप के शेयरों में गिरावट देखने को मिल सकती है.

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