महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में कब कितने मुस्लिम विधायक जीते?

महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में कब कितने मुस्लिम विधायक जीते? यहां जानें आंकड़ा
Maharashtra Assembly Election 2024: महाराष्ट्र की 288 विधानसभा सीटों में से बीजेपी और उद्धव गुट की शिवसेना ने एक भी मुस्लिम प्रत्याशी नहीं उतारे हैं तो शरद पवार ने भी कंजूसी दिखाई है.
Maharashtra Election 2024: महाराष्ट्र में मुसलमानों की आबादी 1.3 करोड़ है जो कि राज्य की कुल आबादी का 11.56 प्रतिशत हिस्सा है लेकिन विधानसभा में मुस्लिम विधायकों की संख्या 10 प्रतिशत का भी आंकड़ा नहीं छू पाई है. 2019 के विधानसभा चुनाव में केवल 10 मुस्लिम प्रतिनिधि ही निर्वाचित होकर विधानसभा पहुंचे. जबकि महाराष्ट्र के कई सीटों पर मुस्लिम मतदाताओं की संख्या 30 प्रतिशत से अधिक है. कुछ ऐसी सीटें हैं जहां 50 प्रतिशत मुस्लिम वोटर्स हैं. मुस्लिम विधायकों की संख्या कम होने के पीछे एक कारण बड़ी राजनीतिक पार्टियों द्वारा टिकट बंटवारे में उन्हें कम हिस्सेदारी देना भी है. 

1962 से लेकर 2019 तक के किसी भी चुनाव में मुस्लिम विधायकों की संख्या 10 प्रतिशत का आंकड़ा नहीं छू पाई है. हालत यह है कि 1962 में जहां 11 मुस्लिम विधायक निर्वाचित हुए थे. वहीं 2019 में 10 ही निर्वाचित हुए हैं. 1999 से लेकर 2019 तक के आंकड़े को देखें तो बीते चार चुनाव में 1999 में 12, 2004 में 11, 2009 में 10, 2014 में 9 विधायक निर्वाचित हुए. 


महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में कब कितने मुस्लिम विधायक जीते? यहां जानें आंकड़ा

महाराष्ट्र के निवर्तमान मुस्लिम विधायक

पिछले चुनाव के 10 मुस्लिम विधायकों में दो असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी AIMIMI, तीन कांग्रेस, एक अविभाजित शिवसेना, दो सपा, और दो अविभाजित एनसीपी से निर्वाचित हुए थे. इनमें शाह फारुक अनवर (AIMIM), अब्दुल सत्तार (शिवसेना), मोहम्मद इस्माइल(AIMIM), रईस शेख (सपा), असलम शेख (कांग्रेस), अबू आजमी (सपा), नवाब मलिक (एनसीपी), जीशान सिद्दीकी (कांग्रेस), अमीनपटेल (कांग्रेस) और हसन मुशरिफ (एनसीपी) हैं. 

इन सीटों पर मुस्लिम वोटर निभाते हैं बड़ी भूमिका

मालेगांव सेंट्रल, मनखुर्द शिवाजी नगर, भिवंडी ईस्ट, मुंबई देवी, भिवंडी वेस्ट, अमरावती, मुंब्रा कलवा, अकोला वेस्ट, बायकुला, औरंगाबाद सेंट्रल, औरंगाबाद पश्चिम, वर्सोवा, धारावी, वांद्रे ईस्ट और कुर्ला में मुस्लिम वोटरों की संख्या सबसे अधिक है. राज्य की उन चार सीटों की स्थिति देखते हैं जहां मुस्लिम वोटर 50 प्रतिशत से अधिक हैं. मालेगांव सेंट्रल में तो 78.4 प्रतिशत मुस्लिम वोटर हैं. इसका असर चुनावी नतीजे पर भी दिखता है. 1978 से लेकर 2019 तक का चुनाव मुस्लिम नेता ने ही जीता है. 2009 से मनखुर्द शिवाजीनगर से अबू आजमी जीतते आ रहे हैं. जहां मुस्लिम मतदाताओं की संख्या 53 प्रतिशत है. भिवंडी ईस्ट में 51 प्रतिशत मुस्लिम वोटर हैं. यहां से सपा के रईस शेख विधायक हैं. मुंबा देवी में 50.9 प्रतिशत मुस्लिम वोटर हैं यहां कांग्रेस के अमीन पटेल विधायक हैं.

2024 चुनाव MVA और महायुति दोनों ने दिखाई टिकट देने में कंजूसी

विधानसभा में मुसलमानों की भागीदारी तभी बढ़ेगी जब पार्टियां उन्हें टिकट देने में रुचि दिखाएं लेकिन सत्तारूढ़ हो या विपक्षी सभी इसमें कंजूसी करते ही नजर आते हैं. सत्तारूढ़ महायुति में से बीजेपी ने किसी भी मुस्लिम नेता को टिकट नहीं दिया तो वहीं शिंदे गुट की शिवसेना से एक मुस्लिम प्रत्याशी उतारा गया है जबकि अजित पवार की एनसीपी ने चार मुस्लिम नेताओं को टिकट दिया है.

महाविकास अघाड़ी में शिवसेना-यूबीटी ने मुस्लिम प्रत्याशी नहीं उतारा है जबकि कांग्रेस ने आठ, एनसीपी-एसपी और सपा ने एक-एक मुस्लिम प्रत्याशी उतारे हैं. शरद पवार गुट ने एक्ट्रेस स्वरा भास्कर के पति फहद अहमद को और सपा ने अबू आजमी को टिकट दिया है. वहीं, एआईएमआईएम जिसने 14 प्रत्याशी चुनाव में खड़े किए हैं उसने 10 मुस्लिम नेताओं को टिकट दिया है. 

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