जमानत के लिए MP हाईकोर्ट की शर्त, पत्नी के साथ पीड़िता के घर जाओ और राखी बंधवाओ
नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट ने पीड़िता को राखी बांधने की शर्त के साथ यौन उत्पीड़न के आरोपी को जमानत देने के मामले में अटॉर्नी जनरल केके वेणुगोपाल से मदद मांगी है। मध्य प्रदेश के इस मामले में 9 महिला वकीलों ने जमानत की शर्त को चुनौती देते हुए सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल की थी। मामले में अगली सुनवाई की तारीख 2 नवंबर तय की गई है। महिला वकीलों ने कहा कि ऐसे आदेश महिलाओं को एक वस्तु की तरह दिखाते हैं।
बता दें कि 20 अप्रैल 2020 को पड़ोस में रहने वाली महिला के घर में घुसकर छेड़छाड़ के आरोप में जेल में बंद विक्रम बागरी ने इंदौर में जमानत याचिका दायर की थी। 30 जुलाई को मध्यप्रदेश हाईकोर्ट की इंदौर बेंच ने छेड़छाड़ के एक आरोपी को सशर्त जमानत दी थी। इसमें एक शर्त यह थी कि आरोपी रक्षाबंधन पर पीड़ित के घर जाकर उससे राखी बंधवाएगा और रक्षा का वचन देगा।
आरोपी विक्रम को पुलिस ने 2 जून को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था। उसके बाद से वह जेल में ही बंद था। सभी पक्षों के तर्क सुनने के बाद जस्टिस रोहित आर्या की सिंगल बेंच ने आरोपी को 50 हजार के मुचलके के साथ जमानत दी थी।