फेसबुक वेडिंग कार्ड्स … डिजिटल इनविटेशन भेजकर कह रहे हैं ‘शादी में जरूर आना’, बदल गया है न्यौता का तरीका

डॉक्टर से लेकर राशन तक के लिए डिजिटल डिपेंडेंसी बढ़ती जा रही है। इनके बीच शादी का न्यौता भेजने का ट्रेंड भी डिजिटल हो चुका है। पेपर बचाने के लिए आई सजगता ने युवाओं को खासकर प्रेरित किया है। लेटेस्ट वेडिंग इनविटेशन ट्रेंड की बात करें, तो फेसबुक वेडिंग कार्ड्स काफी पॉपुलर हो रहे हैं। वेडिंग प्लानर मधुरिमा वर्मा बता रही हैं, क्या है यह ट्रेंड और क्यों इन्हें बेस्ट ऑप्शन माना जा रहा है।

क्या है फेसबुक इनविटेशन कार्ड?

लोगों को कार्ड घर पहुंचाने वाली भाग-दौड़, खर्च और पेपर बचाने की कोशिश ने ही डिजिटल इनविटेशन को बढ़ावा दिया है। आज लगभग हर जेनेरेशन के लोग फेसबुक पर एक्टिव हैं और अपनों की फ्रेंडलिस्ट में हैं। इसी का फायदा फेसबुक वेडिंग कार्ड को मिलता है। इस डिजिटल कार्ड पर सिर्फ इनविटेशन की डिटेल्स डालनी होती है। किसकी शादी कब, किससे, कहां होने जा रही है और इसका आयोजन किस दिन होगा, इन सब बातों की जानकारी सोशल मीडिया पर ही शेयर कर दी जाती है। खास बात यह है कि इनविटेशन का पेज क्रिएट कर देने के बाद फंक्शन से जुड़ी जानकारियां सिर्फ उन्हें ही दिखाई देंगी, जिन्हें इनविटेशन मिला है।

क्या हैं इसके फायदे?

  • शादी के लेटेस्ट ट्रेंड को फॉलो कर इस तरह के इनोवेटिव इनविटेशन क्रिएट किए जाते हैं।
  • परंपरागत कार्ड्स से हटकर इसमें होने वाले दूल्हा और दुल्हन की फोटो होती है।
  • इन कार्ड्स को डिजिटली शेयर कर इनविटेशन दिया जा सकता है।
  • पेपर के साथ-साथ पैसे और समय की भी बचत होती है।
  • कोरोना के समय में घर से बार-बार बाहर जाने से बचा जा सकता है।

फेसबुक से प्रभावित कार्ड्स भी है शादियों का ट्रेंड

इस दौर में हर शख्स अपनी शादी को अलग बनाना और दिखाना चाहता है। इन्ही सबके बीच फेसबुक टेम्पलेट से प्रभावित वेडिंग इनविटेशन भी छपवाए जा रहे हैं। इसकी थीम और डिजाइनिंग फेसबुक की तरह ही होती है। ऐसे कार्ड्स के ऑर्डर भी कार्ड प्रिटिंग के लिए आते हैं।

रिश्तेदारों की कैसी होती है प्रतिक्रिया?

मधुरिमा कहती हैं भारत में शादियों का ट्रेंड बदला है, लेकिन इनविटेशन को लेकर रिश्तेदारों कि सोच में कोई खास बदलाव नहीं आया है। ज्यादातर लोग डिजिटल इनविटेशन को अब भी स्वीकार नहीं कर पाते हैं। अभी भी लोगों को लगता है कि डिजिटल इनविटेशन देकर सिर्फ खाना पूर्ती की है। हालांकि मॉडर्न सोच वाले लोग इसे अपनाकर आगे बढ़ा रहे हैं।

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