रूस के खिलाफ UNGA में निंदा प्रस्ताव पास, सिर्फ 5 देशों ने दिया साथ, 141 देश खिलाफ
यूएनजीए ने एक प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है जिसमें रूस से यूक्रेन में युद्ध को रोकने और सभी सैनिकों को वापस लेने की मांग की गई है। इस प्रस्ताव के पक्ष में 141 वोट पड़े और 35 देशों ने मतदान से दूरी बनाई, इनमें भारत भी शामिल रहा।
- UNGA में सिर्फ 5 देशों ने रूस का साथ दिया
- 35 देशों ने मतदान से दूरी बनाई, इनमें भारत भी शामिल रहा
Russia Ukraine News: संयुक्त राष्ट्र महासभा में रूस के खिलाफ निंदा प्रस्ताव पास हो गया है लेकिन भारत ने रूस के खिलाफ वोटिंग में हिस्सा नहीं लिया। UNGA में रूस का साथ सिर्फ 5 देशों ने दिया। रूस के खिलाफ UNGA में 141 वोट पड़े यानी जो निंदा प्रस्ताव पास करने के समर्थन में 141 देश हैं वो रूस के खिलाफ हैं। बता दें कि यूएनजीए ने एक प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है जिसमें रूस से यूक्रेन में युद्ध को रोकने और सभी सैनिकों को वापस लेने की मांग की गई है। इस प्रस्ताव के पक्ष में 141 वोट पड़े और 35 देशों ने मतदान से दूरी बनाई, इनमें भारत भी शामिल रहा। वहीं, 5 देशों ने प्रस्ताव के खिलाफ वोट किया।
वहीं, आपको बता दें कि खारकीव में रुसी गोलाबारी करीब करीब शुरू हो चुकी है पिछले आधे घंटे से रुसी मिसाइलें खारकीव के अलग अलग इलाकों में जबरदस्त बमबारी कर रही है। भारतीय छात्रों को मिले 6 घंटे के सेफ पैसेज का टाइम खत्म हो चुका है कई छात्राएं ट्रेन के रास्ते वेस्टर्न बॉर्डर के लिए निकल चुकी हैं। कुछ छात्र अभी भी फंसे हुए हैं खारकीव में फंसे कई छात्र ऐसे हैं जो बबाई पिसोचिन बेज्लीदोवका के रास्ते में हैं। भारतीय छात्रों को ये सेफ पैसेज रूस ने दिया था मगर अब लड़ाई ने भयंकर रुप ले लिया है। रूस ने अल्टीमेटम यहां तक दे दिया है कि ये लड़ाई तीसरे विश्वयुद्ध तक जा सकती है और परमाणु युद्ध में भी बदल सकती है और ये ऐसा युद्ध होगा जो बहुत विध्वंसकारी होगा।
यूक्रेन में महायुद्ध शुरू होने के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन की हॉटलाइन आज दूसरी बार कनेक्ट हुई। पुतिन ने 3 रास्ते बताए हैं। यूक्रेन में जो मिशन इम्पॉसिबल लगता था, वो पॉसिबल होने लगा है। मोदी का मिशन स्पष्ट है, 90 फीसदी काम हो चुका है। 17000 भारतीय यूक्रेन बॉर्डर पार कर चुके हैं और बचे हुए तीन हजार छात्रों को भी सुरक्षित लाना है। ये छात्र खारकीव के आसपास हैं। अच्छी बात ये है कि भारतीय छात्र अब खारकीव के सेंटर में नहीं, बल्कि शहर के बाहर हैं। कीव और खारकीव पर किसी भी समय बहुत बड़ा हमला हो सकता है। आज की रात यूक्रेन पर बहुत भारी है।