सिंधिया को न चैलेंज माना है न मानता हूं, लोगों ने आजादी के बाद ही सिंधिया राजवंश का समापन कर दिया था : डॉ. गोविंद सिंह
विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष डॉ. गोविंद सिंह के बेबाक बोल…
कहा- कांग्रेस के लिए सिंधिया चुनौती होते तो अपने प्रतिनिधि से ही एक लाख वोट से नहीं हारते
ग्वालियर। Gwalior
ग्वालियर-चंबल अंचल में राजनीतिक रूप से नेतृत्व विहीन मानी जा रही कांग्रेस ने यहां से डॉ. गोविंद सिंह को विधानसभा में अपना नेता प्रतिपक्ष बनाया है। कांग्रेस का डॉ. गोविंद सिंह पर भरोसा करने के पीछे उनके राजनीतिक अनुभव और क्षेत्र में मजबूत पकड़ के साथ सिंधिया के विरोध में उनकी मुखरता को माना जा रहा है। ज्योतिरादित्य सिंधिया ने अपने समर्थकों के साथ कांग्रेस छोड़ी थी जिससे अंचल में कांग्रेस राजनीतिक तौर पर काफी कमजोर हो गई थी। इसमें सबसे ज्यादा संकट क्षेत्रीय नेतृत्व की कमी को लेकर था।
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डॉ. गोविंद सिंह अपनी बेबाकी और मुद्दों पर पकड़ के लिए पहचाने जाते हैं। कभी कांग्रेस में सिंधिया के विरोधी रहे डॉ. गोविंद पर कांग्रेस ने ग्वालियरचंबल में राजनीतिक दांव खेला है। इस तरह अब कांग्रेस ने अपने उस गढ़ को दोबारा मजबूत करने की तैयारी की है, जहां सबसे ज्यादा सीट जीतने के बाद दलबदल की वजह से सत्ता छोड़नी पड़ी थी। डॉ. गोविंद सिंह से पत्रिका की विशेष बातचीत में उन्होंने सिंधिया को चुनौती मानने से इनकार करते हुए कहा कि अब कोई श्रीमंत या महाराजा नहीं बचा। पढ़िए उनसे बातचीत के प्रमुख अंश-
प्रश्न : ग्वालियर चंबल अंचल में कांग्रेस के लिए सिंधिया सबसे बड़ी चुनौती हैं?
जवाब : ज्योतिरादित्य सिंधिया को न चैलेंज माना है न मानता हूं। यदि सिंधिया चैलेंज होते तो उन्होंने अपना साधारण सा प्रतिनिधि बनाया था उससे ही एक लाख से ज्यादा वोटों से क्यों हार जाते। बुद्धिजीवी और प्रजातंत्र में विश्वास रखने वाले लोगों ने आजादी के बाद ही सिंधिया राजवंश का समापन कर दिया था। उसके बाद प्रदेश में कोई श्रीमंत और महाराजा नहीं बचा है।
प्रश्न : कांग्रेस में अंदरूनी गुटबाजी भी एक बड़ी चुनौती है?
जवाब : कांग्रेस पार्टी पूरी तरह से एकमत है। देश में सोनिया गांधी और प्रदेश में कमलनाथ हमारे नेता हैं। कमलनाथ के नेतृत्व में नेता और कार्यकर्ता काम करेंगे और आगामी चुनाव में कांग्रेस एकजुट होकर भाजपा के सामने होगी, हमारी तैयारी पूरी है। पार्टी का लक्ष्य वर्ष 2023 में प्रदेश से भारतीय जनता पार्टी को सत्ता से बाहर करना है।
प्रश्न : आपको नेता प्रतिपक्ष के लिए चुनने की कोई विशेष वजह?
जवाब : मुझे नहीं लगाता है कोई पद नहीं दिया है, मैं कार्यकर्ता हूं, पार्टी जो जिमेदारी देगी वह कर रहा हूं। मैं तो पहले से ही कार्यकर्ता के रूप में काम करता रहा हूं और आगे भी कार्यकर्ता की हैसियत से काम करता रहूंगा। यह जिमेदारी एक अकेले गोविंद सिंह की नहीं बल्कि सामूहिक रूप से पार्टी के प्रत्येक कार्यकर्ता की है।
प्रश्न : महंगाई और बेरोजगारी के मुद्दे पर कांग्रेस की रणनीति क्या है?
जवाब : बेरोजगारी और महंगाई चरम सीमा पर है, महिलाओं पर अत्याचार लगातार बढ़ रहे हैं। प्रदेश सरकार कर्ज लेकर आम आदमी पर बोझ बढ़ा रही है। भ्रष्टाचार चरम पर है और विकास दिखाई नहीं दे रहा है। इन मुद्दों को लेकर कांग्रेस सभी नेताओं और कार्यकर्ताओं के साथ मिलकर प्रदेश भाजपा सरकार की तानाशाही के खिलाफ आवाज उठाएगी।
प्रश्न : लाउडस्पीकर पर हो रही राजनीति पर आपकी राय?
जवाब : लाउडस्पीकर लगाए जाने चाहिए, लेकिन ऐसा नहीं हो उससे दूसरों को परेशानी हो। किसी एक धर्म पर टारगेट कर बदनाम करने की भाजपा साजिश कर रही है। प्रदेश और देश की जनता अब इस बात को समझ गई है अब उनकी बातों में आने वाली नहीं है।