निकाय चुनाव में क्या रहा MP में वोटर्स का मूड … ?
इंदौरियों ने डेवलपमेंट, भोपालियों ने स्थानीय मुद्दों पर डाले वोट, जानिए-11 निगमों का ट्रेंड….
मध्यप्रदेश में नगरीय निकाय चुनाव के लिए पहले चरण की वोटिंग बुधवार को हो चुकी है। शहर सरकार चुनने के लिए जनता ने क्या सोचकर और किन मुद्दों पर वोट डाला, इसे लेकर दैनिक भास्कर ने उनकी राय जानी। दो सवाल किए। पहला- आपने किसे प्राथमिकता दी? 59% लोगों ने जवाब में कहा कि उन्होंने स्थानीय मुद्दों को प्राथमिकता दी। 24% ने पार्टी, तो 17% ने चेहरा देखकर वोटिंग की बात कही। दूसरा सवाल– महापौर को लेकर क्या सोचकर वोटिंग की? इसके जवाब में 42% ने विकास, 20% ने बदलाव, 38% ने दोनों मुद्दों (विकास और बदलाव) को ध्यान में रख मतदान करने की बात कही।
ये तो रहे प्रदेशभर में लोगों के जवाब, 11 नगर निगमों में लोगों ने इन्हीं दो सवालों के क्या जवाब दिए, पढ़िए…
भोपाल नगर निगम
महापौर के 8 कैंडिडेट्स मैदान में हैं। मुख्य मुकाबला कांग्रेस की विभा पटेल और BJP की मालती राय के बीच है। भोपाल में वोटिंग प्रतिशत पिछले साल के मुकाबले 4.36% तक गिर गया। यहां पर 51.64% मतदाताओं ने मतदान किया।
इंदौर नगर निगम
BJP और कांग्रेस में कड़ा मुकाबला रहा है। BJP ने नए चेहरे पुष्यमित्र भार्गव और कांग्रेस ने विधायक संजय शुक्ला को मैदान में उतारा। दोनों ही पार्टियों के लिए मेयर की कुर्सी प्रतिष्ठा का सवाल बन चुकी है।
जबलपुर नगर निगम
BJP से डॉ. जितेंद्र जामदार और कांग्रेस के जगत बहादुर सिंह में मुख्य मुकाबला रहा। पेशे से डॉक्टर जामदार के लिए संघ सक्रिय रहा तो सिंह खुद जमीनी पकड़ के बूते मैदान में डटे रहे। यहां पर कुल 60% मतदान हुआ।
खंडवा नगर निगम
निमाड़ की महत्वपूर्ण मानी जाने वाली खंडवा मेयर की कुर्सी में भी BJP और कांग्रेस ने पूरी ताकत झोंक दी थी। BJP और कांग्रेस की लड़ाई में असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी भी कूद गई। ओवैसी ने अपनी पार्टी एआईएमआईएम की प्रत्याशी कनीज बी के समर्थन में सभा भी की। BJP से अमृता यादव और कांग्रेस की आशा मिश्रा के लिए दोनों ही पार्टी के नेताओं ने ताकत लगा दी। खंडवा में 55% वोटिंग हुई।
ग्वालियर नगर निगम
कांग्रेस विधायक सतीश सिकरवार की पत्नी शोभा सिकरवार और भाजपा के पुराने संघ से जुड़े परिवार की सुमन शर्मा में सीधा मुकाबला रहा। केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर और ज्योतिरादित्य सिंधिया ने आखिरी दिन जमकर प्रचार किया था। मंत्री भारत सिंह कुशवाह दस दिन से प्रचार की कमान संभाले थे। यहां 49% वोटिंग हुई, जो पिछली बार की तुलना में करीब साढ़े 8% कम रही।
सागर नगर निगम
भाजपा के लिए पार्टी के विधायक शैलेंद्र जैन एक्टिव रहे तो कांग्रेस प्रत्याशी निधि जैन उनके छोटे भाई की पत्नी हैं। मंत्री भूपेंद्र सिंह, गोपाल भार्गव और गोविंद सिंह राजपूत भी एक हो गए। ऐसे में यहां भी चुनाव रोचक हो गया। सागर में 60% मतदाताओं ने वोट डाले।
बुरहानपुर नगर निगम
यहां पर 68% वोटिंग हुई। BJP ने माधुरी पटेल और कांग्रेस से शाहनाज इस्माइल अंसारी प्रत्याशी हैं। इनमें ही सीधी टक्कर रही। एआईएमआईएम, बसपा और सपा के कैंडिडेट्स भी मैदान में डटे रहे।
सतना नगर निगम
यहां से BJP के योगेश ताम्रकार और कांग्रेस के सिद्धार्थ कुशवाह मैदान में डटे रहे। बसपा के सईद अहमद भी मैदान में रहे। त्रिकोणीय मुकाबला रहा। सतना में 63% वोटिंग हुई।
सिंगरौली नगर निगम
BJP के चंद्रप्रताप विश्वकर्मा और कांग्रेस के अरविंद सिंह चंदेल मैदान में रहे। आम आदमी पार्टी की रानी अग्रवाल ने चुनाव को रोचक बनाए रखा। यहां 2 जुलाई को आम आदमी पार्टी के संयोजक और दिल्ली के CM अरविंद केजरीवाल ने सभा भी की थी। सिंगरौली में 52% वोटिंग हुई है।
उज्जैन नगर निगम
यहां पर कांग्रेस ने विधायक महेश परमार और BJP ने मुकेश टेटवाल को मैदान में उतारा। दोनों के बीच ही कड़ा मुकाबला रहा है। यहां पर 59% वोटिंग हुई।
बुरहानपुर नगर निगम
बुरहानपुर में 68% वोटिंग हुई है। बीजेपी से माधुरी पटेल और कांग्रेस से शाहनाज इस्माइल अंसारी प्रत्याशी हैं। इनमें ही सीधी टक्कर रही। वहीं, एआईएमआईएम, बसपा और सपा के कैंडिडेट्स भी मैदान में डटे रहे। (बुरहानपुर का डाटा अपडेट हो रहा है)