नई व्यवस्था :चालकऑटो में तीन सवारी से अधिक बैठाने पर जुर्माना ..?
भोपाल. यातायात व्यवस्था को दुरुस्त करने के लिए सरकार ने नए नियम बनाए हैं। अब शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों के ऑटो भी अलग-अलग रंग के होंगे। ऑटो चालक को तीन से अधिक सवारी बैठाने की इजाजत नहीं होगी। इसके लिए ऑटो चालक के साथ वाहन स्वामी को भी जिम्मेदार माना जाएगा। नियमों का उल्लंघन करने पर एक हजार रुपए का जुर्माना लगेगा। यदि ड्रायवर अपनी सीट पर यात्री को बैठाता है तो पहली बार इस अपराध पर एक हजार रुपए का जुर्माना लगाया जाएगा। दूसरी बार भी यही अपराध करने पर परमिट ही निरस्त हो जाएगा। राज्य के परिवहन विभाग ने नए नियमों को जारी कर दिया है।
ऑटो में…
किसी भी प्रकार का परिवर्तन नहीं
वाहन स्वामी ऑटो रिक्शा एवं ई-रिक्शा में किसी प्रकार का परिवर्तन नहीं कराएगा। अतिरिक्त सीट नहीं लगवाएगा या बैठने के लिए ऐसी कोई व्यवस्था नहीं कराएगा, जिससे बैठक क्षमता में वृद्धि हो। म्यूजिक सिस्टम नहीं लगवाएगा। इसका उल्लंघन पाए जाने पर वाहन लायसेंस निरस्त किया जाएगा। दोबारा परमिट जारी नहीं होगा।
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रेड लाइट जंप पर होगा लायसेंस निलंबित
साल में दो बार रेड लाइट जंप करने या लेन अनुशासन को तोड़ने पर चालक का लाइसेंस छह महीने के लिए निरस्त कर दिया जाएगा। प्रत्येक ऑटो रिक्शा एवं ई-रिक्शा में महत्वपूर्ण फोन, मोबाइल नंबर जैसे एसपी, यातायात पुलिस, क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी, एम्बुलेंस, डायल-100, महिला हेल्पलाइन, चाइल्ड लाइन आदि का नंबर लिखना सुनिश्चित किया जाएगा।
ई-रिक्शा पर रूट क्रमांक लिखना होगा। बड़े अक्षरों में रूट का विवरण तथा ऑटो स्टैण्ड का विवरण भी लिखना होगा। वाहन चालक को निर्धारित ड्रेस में रहने के साथ ही सभी जरूरी कागजात भी रखने होंगे।
ऐसे होगी पहचान
ई-परमिट होगा जारी
ऑटो रिक्शा के अवैध संचालन पर प्रभावी नियंत्रण के लिए ई-परमिट जारी किया जाएगा। ऑटो रिक्शा को जारी परमिट तथा अन्य दस्तावेज मध्यप्रदेश के पुलिस और परिवहन विभाग के अधिकारियों के वाहन पोर्टल पर उपलब्ध होंगे। ऑटो रिक्शा का संचालन केवल अनुबंध गाड़ी के रूप में किया जाएगा।
हाईकोर्ट की फटकार के बाद राज्य सरकार जागी है। असल में मध्यप्रदेश हाईकोर्ट ने नियम विरुद्ध ऑटो रिक्शा संचालन के मामले में सरकार को फटकार लगाई थी। यह याचिका भी पिछले 10 साल से लंबित है। हाईकोर्ट ने सरकार को निर्देश दिए कि नियम विरुद्ध ऑटो संचालन पर अंकुश लगाने के लिए ठोस कार्ययोजना पेश करें। इसके बाद सरकार ने नए नियम जारी किए हैं। अब मामले पर अगली सुनवाई 16 नवंबर को होगी।
नई व्यवस्था के तहत शहरी तथा गैर शहरी क्षेत्रों के लिए अलग-अलग परिमिट जारी किए जाएंगे। इनके लिए अलग-अलग कलर कोडिंग होगी। शहरी क्षेत्र के लिए इलेक्ट्रिक, सीएनजी या बार्यो इंधन से संचालित ऑटो रिक्शा के लिए पीला हुड और ग्रीन बॉडी। पेट्रोल, डीजल से संचालित ऑटो रिक्शा के लिए पीला हुड और काली बॉडी। शहरी क्षेत्र से भिन्न क्षेत्र के लिए पीला हुड और लाल बॉडी।