जंगल पर संकट; कब्जे-कटाई और खनन, 11 माह में 41 हजार अपराध

चिंताजनक: सबसे ज्यादा 4203 मामले जबलपुर वनवृत्त में
जंगल पर संकट; कब्जे-कटाई और खनन, 11 माह में 41 हजार अपराध
भोपाल. मध्यप्रदेश के जंगलों में अतिक्रमण, खनन और पेड़ों की कटाई के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं। स्थिति यह है कि बीते 11 महीने में राज्य में वन अपराध के 41 हजार से ज्यादा मामले दर्ज हुए हैं। बीते साल इन 11 महीनों में 40 हजार केस दर्ज हुए थे। इस वर्ष जनवरी से अब तक बुरहानपुर, विदिशा, धार, झाबुआ, मंडला, डिंडोरी और खंडवा जिले में जंगल में अतिक्रमण के सबसे ज्यादा मामले सामने आए हैं। विदिशा-गुना जैसे जिलों में अवैध कटाई के केस ज्यादा हैं।
बुरहानपुर: जंगल के रास्ते पर बिना आधार कार्ड के अब नहीं मिलेगी एंट्री

खनन के प्रकरण

ग्वालियर 288

शिवपुरी 143

छतरपुर 105

सागर 47

रीवा 32

बुरहानपुर @ नेपानगर क्षेत्र के नावरा रेंज के जंगल में अतिक्रमणकारियों की हरकत ने भोपाल तक हलचल पैदा कर दी है। मुख्यमंत्री तक मामला पहुंचा है। अब जगह-जगह चेकिंग पॉइंट बनाकर सख्ती शुरू की गई है।

जंगल के रास्ते किसी को भी एंट्री देने से पहले उसका नाम, पता, आधार नंबर और गाड़ी नंबर लिया जाएगा। संभवत: बुरहानपुर देश का पहला जिला होगा, जहां बिना आधार नंबर के किसी को एंट्री नहीं मिलेगी। नेपानगर तहसील के ग्राम नावरा के वन क्षेत्र घाघरला और आसपास के जंगलों की सुरक्षा के लिए वन विभाग ने ये व्यवस्था लागू की है। 10 चेकिंग पाइंट बनाए गए हैं।

यहां राजस्व, पुलिस और वन विभाग का अमला तैनात किया गया है। इधर, शनिवार को गृह विभाग के अपर मुख्य सचिव राजेश राजौरा भी पहुंचे। उन्होंने निरीक्षण किया। जहां जंगल की सुरक्षा के लिए निर्देश दिए।

बुरहानपुर में वन अमले ने बनाई चौकी।

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