नई दिल्ली राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में महिलाओं के खिलाफ अपराधों की श्रंखला लंबी है। दिल्ली में महिलाओं के खिलाफ अपराधों की संख्या दिल्लीवासियों को डराने के लिए काफी है। NCRB के डेटा के अनुसार, दिल्ली महिलाओं के सबसे असुरक्षित शहर है।

दस साल की बच्ची से हैवानियत

दिल्ली के विकासपुरी में दिल दहला देने वाली वारदात सामने आई, जहां एक 10 साल की बच्ची हैवानियत की शिकार हुई। इस दस साल की बच्ची को आरोपी ने चाकू का डर दिखाकर अपने साथ ले गया। दस साल की मासूम ने हिम्मत न हारते हुए अपने आप को छुड़ाने के लिए तमाम कोशिशे की। विरोध करने के लिए बच्ची ने खूब चीखा और चिल्लाया।

बच्ची के शोर मचाने पर आरोपी ने उसका मुंह बंद करना चाहा। आरोपी ने बच्ची के मुंह पर कई बार वार भी किए। शोर-शराबा होने पर आरोपी मौके से फरार हो गया, जिसके बाद बच्ची को अस्पताल पहुंचाकर काउंसलिंग कराई गई।

72 साल की बुजुर्ग महिला पर सूए से ताबड़तोड़ वार

राजधानी दिल्ली के मंडावली इलाके में बदमाशों ने 72 साल की महिला पर बर्फ तोड़ने वाले सूए से कई वार किए। महिला के शरीर के अलग-अलग हिस्सों पर वार करके हमलावर मौके से नौ दो ग्यारह हो गए।

जांच में पता लगा है कि दुकान के सामने से रेहड़ी हटाने को लेकर महिला और हमलावरों के बीच पहले विवाद हुआ था। इसके प्रतिशोध में ही इस घटना को अंजाम दिया गया है। हमलावरों ने महिला के सिर और कंधे पर जोरदार हमला किया, जिसके बाद वह सड़क पर ही गिर गईं। राहगीरों ने उन्हें अस्पताल पहुंचाया, लेकिन उनकी जान नहीं बचाई जा सकी।

क्या कहते हैं NCRB के आंकड़े?

NCRB की रिपोर्ट का अध्ययन करने से पता लगता है कि दिल्ली में रहने वाली महिलाएं सुरक्षित नहीं है। NCRB के मुताबिक, दिल्ली में साल 2022 में रोजाना छह महिलाएं दुष्कर्म का शिकार हुईं हैं। बता दें कि साल 2021 में दिल्ली में कुल 14,277 मामले दर्ज किए गए जो महिलाओं के खिलाफ अपराधों से संबंधित थे।

इनमें दुष्कर्म के 1,250 मामले दर्ज हुए थे। वहीं, दहेज हत्या के 141 मामल, अपहरण के 4083 मामले और महिलाओं पर हमले के 2,068 मामले दर्ज किए गए थे। दिल्ली महिलाओं के लिए पूरे देश में सबसे असुरक्षित शहर है।