फिर खाली हुआ खजाना, 2000 करोड़ का कर्ज लेगी सरकार !

फिर खाली हुआ खजाना, 2000 करोड़ का कर्ज लेगी सरकार

एमपी में राज्य सरकार का खजाना फिर खाली हो गया है। प्रदेश में विधानसभा चुनावों के पहले विकास कार्यों में तेजी आई है। राज्य सरकार ने कई योजनाएं भी चालू की हैं जिसका असर सरकारी खजाने पर पड़ रहा है। वित्त विभाग के अफसरों की चिंता बढ़ी है और ऐसे में कर्ज लेने का क्रम जारी है। अब राज्य सरकार 2000 रुपए करोड़ का कर्ज ले रही है।

एमपी में राज्य सरकार का खजाना फिर खाली

एमपी में राज्य सरकार का खजाना फिर खाली हो गया है। प्रदेश में विधानसभा चुनावों के पहले विकास कार्यों में तेजी आई है। राज्य सरकार ने कई योजनाएं भी चालू की हैं जिसका असर सरकारी खजाने पर पड़ रहा है। वित्त विभाग के अफसरों की चिंता बढ़ी है और ऐसे में कर्ज लेने का क्रम जारी है। अब राज्य सरकार 2000 रुपए करोड़ का कर्ज ले रही है।

वित्तीय वर्ष के छह महीने में पांचवीं बार कर्ज लिया जा रहा है। खुले बाजार से कर्ज लेने के लिए वित्तीय संस्थाओं के ऑफर बुलाए गए हैं। राज्य सरकार 26 सितंबर को छह साल के लिए कर्ज लेगी। नया कर्ज दो हजार करोड़ रुपए का होगा।

विधानसभा चुनाव की आचार संहिता के चंद दिन शेष हैं, ऐसे में सरकार पर दबाव बढ़ा है। दबाव खर्चों को लेकर है। जनता चाहती है क्षेत्र के विकास कार्य पूरे हों। सरकार भी चाहती है कि समाज का कोई वर्ग नाराज न हो। घोषणाएं पूरी हो जाएं। जो वादे अभी पूरे नहीं हो सकते तो कम से कम धरातल पर दिखने लगें। इसलिए विकास कार्यों के भूमिपूजन में तेजी आई है।

3.31 लाख करोड़ का कर्ज राज्य के बजट से ज्यादा
इस बार राज्य के बजट का आकार 3.14 लाख करोड़ रुपए हो गया, जबकि कर्ज अधिक यानी 3.31 लाख करोड़ हो गया है। हालांकि सरकार का दावा है कि खजाने की स्थिति बेहतर है, विकास कार्य होंगे तो कर्ज लेना पड़ेगा। आय बढ़ी है, कर्ज चुकाने की स्थिति में हैं, इसलिए कर्ज लिया जा रहा है।

इन योजनाओं में लग रही राशि
लाड़ली बहना योजना के तहत एक हजार रुपए की राशि।
डिफॉल्टर हुए किसानों का ब्याज सरकार भर रही है।
बहनों को आवास सुविधा का ऐलान।
अतिथि विद्वानों का मानदेय दोगुना, यानी 25 से बढ़ाकर 50 हजार रुपए।
ग्राम रोजगार सहायकों का मानदेय 9000 से बढ़ाकर 18000 किया।
आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं का मानदेय 10 हजार से बढ़ाकर 130 हजार
मिनी आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं का मानदेय 5 हजार से बढ़ाकर 6500 रुपए।
संविदा कर्मियों को नियमित कर्मचारियों के सुविधाएं।
इसका लाभ ढाई लाख संविदा कर्मियों को मिलेगा।
किसान सम्मान निधि 4 हजार से बढ़ाकर 6 हजार रुपए की।
कर्मचारियों का डीए केंद्रीय कर्मियों के समान 42प्रतिशत किया।
इसका लाभ 4.50 लाख अधिकारी-कर्मचारियों को मिलेगा।
जिपं अध्यक्षों, उपाध्यक्षों, जनपद पंचायत अध्यक्ष, उपाध्यक्ष के
मानदेय में भी इजाफा।

ऐसी है खजाने की स्थिति (राशि करोड़ रुपए)
बाजार कर्ज- 200817.92
बॉण्ड्स- 6624.44
वित्तीय संस्थाओं से कर्ज- 14620.17
केंद्र सरकार से अग्रिम एवं कर्ज- 52617.91
अन्य देनदारियां – 18472.62
राष्ट्रीय बचत कोष को विशेष सुरक्षा जारी की- 38498.01
(राशि करोड़ रुपए)

इस साल कर्ज लिया
22 सितंबर 500 करोड़
12 सितंबर 1000 करोड़
13 जून 4000 करोड़
30 मई 2000 करोड़
28 मार्च 1000 करोड़
21 मार्च 4000 करोड़
14 मार्च 2000 करोड़
6 मार्च 3000 करोड़
28 फरवरी 3000 करोड़
21 फरवरी 3000 करोड़
14 फरवरी 3000 करोड़
7 फरवरी 3000 करोड़
31 जनवरी 2000 करोड़

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