सिंघु बॉर्डर पर आज दो अहम बैठकें, आगे की रणनीति बनाएंगे किसान नेता

कानूनों पर अंतरिम रोक लगाए जाने के बावजूद किसान आज 49वें दिन अपना धरना प्रदर्शन (Farmers Protest) जारी रखेंगे. बता दें कि मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट ने तीनों कानूनों को फिलहाल लागू होने से रोक दिया है, साथ ही किसान-सरकार के बीच बातचीत के लिए एक कमिटी भी बनाई है. किसानों का कहना है कि कानूनों को रद्द किया जाना चाहिए.

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  • सिंघु बॉर्डर पर आज दो मीटिंग

    सिंघु बॉर्डर पर 12 बजे पंजाब के किसान नेताओं की मीटिंग होगी उसके बाद 2 बजे संयुक्त किसान मोर्चा की मीटिंग होगी. जिसमे आगे की रणनीति तय की जाएगी.

  • कमिटी पर कांग्रेस ने उठाए सवाल

    कांग्रेस नेता रणदीप सुरजेवाला ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने जो संज्ञान लिया व चिंता जाहिर की वो स्वागत योग्य है. उनकी चिंता से हम भी अपने आपको जोड़ते है. किसानों से 3 काले कानून को खत्म करने वाली कमेटी के सदस्यो ने पहले ही ये कह दिया कि 3 कानून सही है, किसान गलत है, किसान भटके हुए है. ऐसी कमेटी किसानों से कैसे न्याय करेगी?
  • आज दिल्ली बॉर्डर्स पर ही लोहड़ी मनाएंगे किसान

  • आज लोहड़ी का त्योहार है. किसान पहले ही कह चुके हैं कि दिल्ली की सीमाओं से वे लोग हटने वाले नहीं हैं. ऐसे में आज किसान वहीं लोहड़ी मनाएंगे.

  • ‘सुप्रीम कोर्ट की कमेटी का विरोध करने वाले आग में घी डाल रहे’, कृषि राज्य मंत्री

    कृषि कानूनों पर सुप्रीम कोर्ट ने रोक लगा दी है, वहीं एक 4 सदस्यीय कमेटी का गठन किया है. हालांकि इन सबके बीच किसान संगठनों ने किसी भी समिति के साथ बातचीत से साफ इनकार कर दिया है. इन सबके बीच केंद्रीय कृषि राज्यमंत्री कैलाश चौधरी ने कहा है कि सरकार हमेशा बातचीत के लिए तैयार; यह किसान यूनियनों को तय करना है कि वे क्या चाहते हैं.

    कैलाश चौधरी ने कहा है कि सुप्रीम कोर्ट का निर्णय हमारी इच्छा के खिलाफ हुआ है. हम चाहते थे कि कानून जैसे हैं वैसे ही रहें और उनपर स्टे न लगाया जाए, लेकिन इसके बावजूद सुप्रीम कोर्ट का निर्णय सर्वमान्य है. उन्होंने ये भी कहा कि हम निर्णय का स्वागत करते हैं. कैलाश चौधरी बोले गणतंत्र दिवस हमारा राष्ट्रीय दिवस है. अगर इस दिन अगर कोई ट्रैक्टर रैली या अन्य विरोध प्रदर्शन करता है तो इसका सिर्फ देश ही नहीं पूरी दुनिया में निगेटिव असर जाएगा. उन्होंने कहा कि मैं सोचता हूं कि किसान यूनियन के नेता इस बात को समझेंगे

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