पेट्रोल 5 रुपए और डीजल 10 रुपए सस्ता
अक्टूबर के महीने में पेट्रोल 7.45 रुपए जबकि डीजल 7.90 रुपए प्रति लीटर तक महंगा हो गया था। इस दौरान ब्रेंट क्रूड की कीमतें भी नय़े रिकॉर्ड स्तरों पर पहुंच गयीं थी।
नई दिल्ली। दीवाली के मौके पर केंद्र सरकार ने देश की जनता को बड़ा तोहफा दिया है। सरकार ने पेट्रोल और डीजल में एक्साइज शुल्क में भारी कटौती की है। इस कटौती के बाद अब देश में पेट्रोल की कीमतों में 5 रुपए प्रति लीटर और डीजल की कीमतों में 10 रुपए प्रति लीटर की भारी कमी आ जाएगी। नई कीमतें कल सुबह से लागू होंगी। फिलहाल देश में कई जगहों पर पेट्रोल डीजल की कीमतें 100 रुपये के पार पहुंच गई है। कटौती के बाद से ग्राहकों को बड़ी राहत मिलेगी साथ ही महंगाई का असर भी कम होगा।
जानिये कितने का मिलेगा तेल
दिल्ली में अब पेट्रोल करीब 105 रुपये और डीजल करीब 89 रुपये प्रति लीटर का मिलेगा
मुंबई में अब पेट्रोल करीब 110 रुपये और डीजल 97 रुपये प्रति लीटर का मिलेगा
चेन्नई में अब पेट्रोल करीब 101 रुपये प्रति लीटर और डीजल करीब 93 रुपये प्रति लीटर मिलेगा
कोलकाता में पेट्रोल करीब 105 रुपये प्रति लीटर और डीजल करीब 92 रुपये प्रति लीटर मिलेगा
लखनऊ में पेट्रोल करीब 102 रुपये प्रति लीटर और डीजल करीब 89 रुपये प्रति लीटर का मिलेगा।
जयपुर में पेट्रोल करीब 114 रुपये प्रति लीटर और डीजल करीब 99 रुपये प्रति लीटर का मिलेगा।
शिमला में पेट्रोल करीब 103 रुपये प्रति लीटर और डीजल करीब 88 रुपये प्रति लीटर का मिलेगा।
देहरादून में पेट्रोल करीब 101 रुपये प्रति लीटर और डीजल करीब 90 रुपये प्रति लीटर का मिलेगा।
अक्टूबर में डीजल कीमतों में बढ़त का असर हुआ खत्म
अक्टूबर का महीना तेल की कीमतों में तेजी का रहा था। हर रोज 30 और 35 पैसे करके बीते महीने पेट्रोल 7.45 रुपए महंगा हो गया, जबकि डीजल 7.90 रुपए बढ़ गया। हालांकि आज की कटौती के साथ डीजल में अक्टूबर की सारी बढ़त वापस हो गयी है। वहीं पेट्रोल में भी सिर्फ ढाई रुपय़े के करीब का असर ही बचा है।
अर्थव्यवस्था से मिले संकेतों के बाद उठाया कदम
सरकार ने पहले ही संकेत दिये थे कि अर्थव्यवस्था में रिकवरी के संकेतों के बाद तेल कीमतों में राहत दी जा सकती है। अक्टूबर के महीने में जीएसटी कलेक्शन के आंकड़े उत्साहजनक रहे हैं। कलेक्शन 1.3 लाख करोड़ रुपय़े के पार हो गय़ा है। जीएसटी लागू होने के बाद से ये दूसरा सबसे ऊंचा कलेक्शन रहा है। वहीं बीते 4 महीनों में कलेक्शन लगातार 1 लाख करोड़ रुपये के पार रहा था। इसके साथ ही अर्थव्य़वस्था के कई और संकेतक भी तेज रिकवरी के संकेत दे रहे हैं। बेहतर आय की उम्मीदों को देखते हुए सरकार ने एक्साइज शुल्क में भारी कटौती की है।