कलेक्टर-कमिश्नर कॉन्फ्रेंस ….. MP में फॉरेन फंडिंग वाले NGO की जांच होगी; शिवराज बोले- धर्मांतरण करने वाले संगठनों को रहने नहीं देंगे
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान सोमवार को कलेक्टर-कमिश्नर, आईजी-पुलिस अधीक्षक कॉन्फ्रेंस कर रहे हैं। इस दौरान मुख्यमंत्री ने अफसरों से कहा कि मध्य प्रदेश में ऐसे सभी एनजीओ को चिन्हित करें, जिन्हें फॉरेन फंडिंग (विदेशों से मिलने वाली आर्थिक मदद) हो रही है। यह भी पता लगाएं कि इस फंड का कहां और क्या उपयोग हो रहा है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि वैमनस्य फैलाने, समाज को तोड़ने का काम करने वाले और धर्मांतरण करने वाले एनजीओ के लिए मध्यप्रदेश में जगह नहीं है। उन्हें हम यहां रहने नहीं देंगे। समाज को तोड़ने में कई एनजीओ का भी हाथ है। ऐसे संगठनों का रिकॉर्ड तैयार किया जाए। इनसे जुड़े लोगों की सूची बनाएं।
कान्हा नेशनल पार्क के आसपास नक्सलियों का नया ठिकाना
बैठक के दौरान बताया गया कि नक्सलियों ने कान्हा पार्क के आसपास नया ठिकाना बना लिया है। इंटेलिजेंस इनपुट के आधार पर बताया गया कि जनवरी 2021 में परसवाड़ा, दोरा और छरेगांव में नए दलम (नक्सली) के एक नए ग्रुप की मौजूदगी देखी जा रही है। इस तरह 30 नक्सलियों का नया ग्रुप कान्हा नेशनल पार्क के आसपास के इलाके में बनाया गया है। पुलिस की तरफ से बताया गया कि पिछले दो साल में 7 हार्डकोर माओवादी (ACM) पुलिस के साथ मुठभेड़ में मारे गए। 3 को गिरफ्तार किया गया। इनसे भारी मात्रा में विस्फोटक जब्त किया गया। यह भी बताया गया कि पिछले दो साल से तेंदूपत्ता ठेकेदारों से रंगदारी लगभग बंद हो गई है।
कोरोना के मौजूदा हालात की समीक्षा
बैठक में मुख्यमंत्री माफिया के खिलाफ चलाए जा रहे अभियान की जानकारी ले रहे हैं। प्रदेश में न्यूनतम समर्थ मूल्य (MSP) पर धान खरीदी की तैयारियों के साथ ही कोरोना की मौजूदा स्थिति की समीक्षा की जाएगी। बैठक में कोरोना संक्रमण को लेकर मौजूदा परिस्थिति को देखते हुए जिला अधिकारियों से जानकारी ली जाएगी। साथ ही, कोरोना संक्रमण की रोकथाम के लिए दिशा-निर्देश दिए जाएंगे। मुख्यमंत्री मुख्य रूप से कोरोना वैक्सीन के दूसरे डोज की मोजूदा स्थिति पर बात करेंगे। दरअसल, कोरोना के नए वेरिएंट ओमीक्रोन को लेकर किस तरह से सावधानी व निगरानी को लेकर मुख्यमंत्री निर्देश दे सकते हैं।
बता दें कि इस वैरिएंट के 30 से ज्यादा म्यूटेशन का पता चला है, लेकिन अभी यह प्रमाण नहीं मिल सके हैं कि इसका वैक्सीन का प्रभाव कम होगा या फिर नहीं होगा। हालांकि मुख्यमंत्री ने कहा है कि फिलहाल सरकार प्रतिबंध तो कोई नहीं लगाएगी, पर निगरानी बढ़ाई जाएगी। मास्क पहनना अनिवार्य है लेकिन इसका पालन गंभीरता के साथ नहीं हो रहा है। इसी तरह शारीरिक दूरी का पालन भी नहीं किया जा रहा है।
कलेक्टरों को निर्देश दिए जाएंगे कि वे जिला, ब्लाॅक आपदा प्रबंधन समिति के सदस्यों के साथ बैठक करें और कोरोना संक्रमण की रोकथाम के लिए तय दिशा-निर्देशों का पालन सुनिश्चित कराने के साथ वैक्सीनेशन के लिए व्यक्तियों को प्रेरित करें। माना जा रहा है कि मुख्यमंत्री बैठक के दौरान एक बार फिर मास्क की अनिवार्यता के लिए रोको-टोको अभियान फिर से प्रारंभ करने के निर्देश दे सकते हैं।