श्योपुर .. शहर में अधिकतर कॉलोनी अवैध …. शहर में सिर्फ 4 वैध कॉलोनी, 15 से ज्यादा अवैध जहां मकान बनाने की अनुमति नहीं

शहरभर में 15 से ज्यादा कॉलोनियां है, लेकिन इनमें से वैध सिर्फ 4 ही हैं। बाकी कॉलोनियां अवैध हैं। यहां लोगों को मकान बनाने के लिए नगर पालिका की ओर से भवन अनुज्ञा जारी नहीं की जा रही है। सिर्फ इतना ही नहीं, नगर पालिका के अफसरों का इन कॉलोनियों को वैध करने की ओर भी ध्यान नहीं है जबकि प्रदेश सरकार ने अवैध कॉलोनियों को वैध करने के लिए नए नियम बना दिए हैं। ऐसे हालात में शहर का बेतरतीब विकास हाे रहा है।

शहर के बायपास रोड से लेकर अन्य निजी भूमियों को खरीदकर कॉलोनाइजरों ने कॉलोनियां काटी हैं। इनमें नई व पुरानी दोनों तरह की कॉलोनियां शामिल हैं। शहर में 15 से ज्यादा कॉलोनियां है, लेकिन इनमें से सिर्फ चार कॉलोनियां ही ऐसी हैं, जो वैध हैं। इनमें शिवपुरी रोड स्थित विकास नगर, मयूर विहार व बायपास रोड स्थित श्रीनाथपुरम् और मार्गा रेसीडेंस शामिल है। इसके अलावा शहर में अन्य कोई कॉलोनी वैध नहीं है, न किसी ने कॉलोनी को वैध कराने के लिए टीएंडसीपी समेत अन्य अनुमतियां प्रशासन से ली हैं। कॉलोनाइजर सिर्फ डायवर्सन कराकर प्लाटिंग कर रहे हैं। इसके अलावा नगर पालिका ने 11 कॉलोनियों को वैध करने के लिए प्रकरण बनाए पर अब यह फाइलें बंद पड़ी हुई है।

कार्रवाई: अब ब तक 19 कॉलोनियों पर रोक और 5 के खिलाफ परिवाद

कलेक्टर ने अवैध कॉलोनियों व सरकारी जमीनों को लेकर हाल ही में कार्रवाई की जिसमें शहर के आसपास सटी 19 कॉलोनियों में क्रय-विक्रय पर पूर्णत: प्रतिबंध लगा दिया। साथ ही इन कॉलोनियों की सूची रजिस्ट्रार को भी उपलब्ध करा दी है ताकि वह इन कॉलोनियों में प्लाट की रजिस्ट्री न करें। साथ ही पटवारियों को नामांतरण-बंटवारा करने पर भी रोक दिया गया है। वही शहर की 5 कॉलोनियों में कॉलोनाइजरों के खिलाफ सीजेएम कोर्ट में परिवाद पेश किया है।

बायपास रोड पर सबसे ज्यादा कॉलोनी

शहर में सबसे ज्यादा कॉलोनियां बायपास रोड पर बनाई जा रही है जिनमें कई कॉलोनियों में तो भवन निर्माण सरकारी जमीनों पर ही कर दिए गए हैं। बावजूद इसके इनके न तो प्रकरण बनाए जा रहे हैं न पटवारी इनकी रिपोर्ट तहसील में दे रहे हैं। शहर के बायपास रोड पर कॉलोनी काटने के साथ यही सबसे महंगी दरों पर प्लाॅट दिए जा रहे हैं। इनमें 1500-2000 रुपए वर्गफीट की दर से प्लाॅट बेचे जा रहे है। खास बात तो यह है कि कई कॉलोनियों में तो पानी, सड़क और बिजली जैसी मूलभूत सुविधा तक नही है। ऐसे में लोगों को बिजली के कनेक्शन भी अस्थाई लेकर लाइन भी निजी खर्च से लगानी पड़ रही है।

भवन अनुज्ञा बिना नहीं मिल रहा होम लोन

अवैध कॉलोनियों में लाखों रुपए का प्लाॅट लेने के बाद भी लोग इन पर अपने घर नहीं बना पा रहे हैं क्योंकि उन्हें भवन अनुज्ञा नहीं मिल रही है। नतीजा वह बिना भवन अनुज्ञा पत्र के कॉलोनी में भवन बनाने के लिए लोन का आवेदन नहीं कर पा रहे है। कई लोग लाखों रुपए में प्लाॅट खरीदकर फंस गए हैं।

शहर की कॉलोनी भी कर रहे चिह्नित

कॉलोनियों को वैध करने के लिए दिए गए नॉर्म्स के अनुसार कार्रवाई कराई जाए, इसे लेकर बैठक करेंगे। साथ ही शहर में भी अवैध कॉलोनियों को चिह्नित करने का काम किया जा रहा है।
शिवम वर्मा, कलेक्टर, श्योपुर

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