ग्वालियर । थानों में आम नागरिकों की सुनवाई नहीं होने के कारण सीएम हेल्पलाइन पर औसतन प्रतिमाह 1200 शिकायतें दर्ज हो रही हैं। शिकायतकर्ता को थाने का स्टाफ संतुष्ट नहीं कर पा रहा है। नतीजा सीएसपी, एएसपी, एसएसपी व पुलिस महानिरीक्षक पर तक हेल्पलाइन में आईं शिकायतों के निराकरण कराने का दबाव बढ़ गया है। इस समस्या से निजात पाने के लिए जिला पुलिस ने नया प्रयोग किया है। पुलिस अब थानों पर भरोसा करने की बजाए कंट्रोल रूम को मजबूत कर रही है। विभाग ने अब ई-मेल, टि्वटर और वाट्सएप नंबर के साथ पुलिस कंट्रोल रूम के नंबर इंटरनेट मीडिया पर जारी कर दिए हैं। इन प्लेटफार्मों पर आने वाली शिकायतों के निराकरण की जिम्मेदारी अब जोनल पुलिस कंट्रोल रूम की होगी, जो थाने से बल भेजकर शिकायत की पड़ताल कराएंगे। साथ ही शिकायत का निराकरण होने की जानकारी शिकायतकर्ता को देंगे।

सीएम हेल्पलाइन पर अंबार होने के साथ एसएसपी आफिस से सुबह लेकर दोपहर 2 बजे तक शिकायत लेकर आने वालों की कतार लगा रही थी। एसएसपी को दिन में दो से तीन बार अपने चैंबर से उठकर शिकायतें सुनने के लिए बाहर आना पड़ता है। जिसके कारण एसएसपी लंच तक समय शिकायतें सुनने में जाता है। उसके बाद एसएसपी आफिस का स्टाफ इन शिकायतों को संबंधित थाने में भेजता है। एसएसपी आफिस से जाने वाली शिकायतों को भी थाने में गंभीरता से नहीं लिया जाता है। और पर शिकायतकर्ता एसएसपी के सामने खड़ा होता है।

मंगलवार को भी होती है जनसुनवाई- एसएसपी के प्रतिदिन शिकायतें सुनने के बाद मंगलवार को होने वाली जनसुनवाई में दो सौ से ढाइ सौ लोग शिकायतें लेकर आते हैं। जनसुनवाई में शिकायतें अधिक होने के पीछे पुलिस अधिकारियों के तर्क हैं कि शिकायतकर्ता अपने मन माफिक कार्रवाई कराना चाहता है। इसलिए एक शिकायत कई बार आती हैं।

पुलिस का दावा- अब आ नहीं पड़ेगा एसएसपी आफिस शिकायत लेकर –

एएसपी (आइपीएस) अभिनव चौकसे ने बताया कि शिकायत लेकर नागरिकों को एसएसपी आफिस नहीं आना पड़ेगा। और नहीं शिकायत के लिए सीएम हेल्पलाइन की मदद लेनी पड़ेगी। जिला पुलिस ने इसके लिए नया प्रयोग किया है। इस प्रयोग के तहक शिकायतों के समय पर निराकरण के लिए पुलिस कंट्रोल रूम को जवाबदेह बनाया जा रहा है। शिकायत कर्ता घर बैठकर इ-मेल, टि्वटर व वाट्सएप भी अपनी लिखित शिकायत भेज सकते हैं। पुलिस कंट्रोल की जिम्मेदारी होगी कि वह थानों के माध्यम से शिकायतों का निराकरण कराये। कोई थाना लापरवाही बरतता है, तो पुलिस कंट्रोल प्रभारी इसकी जानकारी वरिष्ठ अधिकारियों को देंगें। नई व्यवस्था के तहत जुआ, सट्टा, नशीले पदार्थों की बिक्री, व अन्य गैरकानूनी गतिविधियों की जानकारी भी दे सकते हैं। शिकायत के संबंध में वीडियो व अन्य साक्ष्य भेज सकते हैं। सूचना देने वाले के नाम-पता गुप्त रखा जाएगा। और सूचना की तस्दीक कराने के बाद कार्रवाई भी की जाएगी।

अब यहां करें शिकायतें-

शिकायत के लिए वाट्सएप नंबर– 7049101029