ठेके के दो महीने निकलने के बाद भी एग्रीमेंट न होने महंगी रहेगी रेत ..!
जिले की 10 में से दो रेत खदानों से उत्खनन की अनुमति, बाकी की मंजूरी अटकी …
ग्वालियर. ठेके की अवधि के दो महीने निकलने के बाद भी एग्रीमेंट न होने से इस बार भी पिछली बार की तरह रेत के दामों में उछाल रहने की संभावना है। कारण यह है कि जिले की 10 रेत खदानों में से अभी सैक और सिया से दो रेत खदानों से ही उत्खनन की अनुमति मिलने का रास्ता लगभग साफ हो पाया है। जिन दो खदानों की मंजूरी हुई है, उनमें जिले की सिली और पुट्टी खदान शामिल हैं। बाकी की आठ खदानों की मंजूरी अभी अटकी है। प्रदेश स्तर से मंजूरी मिलने पर जिलास्तर पर माइनिंग विभाग ठेकेदार से अनुबंध करेगा। ठेकेदार के पास समय कम बचा है तथा सीमित समयावधि में अपनी रकम और लाभ कमाने के लिए दामों में बढ़ोतरी और रॉयल्टी चोरी होने की संभावना रहेगी।
उल्लेखनीय है कि जिले की रेत खदानों का ठेका इस बार भिंड निवासी सुनील सिंह भदौरिया के नाम हुआ है। 12.75 करोड़ रुपए में ठेका लेने वाले ठेकेदार को 1 अक्टूबर से 30 जून-2023 तक ही रेत उठाने की अनुमति है। ठेका अवधि में कॉन्ट्रेक्ट लेने वाली कंपनी 5 लाख घनमीटर रेत निकाल सकेगी। समय पर अनुमतियां मिलतीं तो रेत की मात्रा के हिसाब से 255 रुपए प्रति घनमीटर रॉयल्टी और रेत के दामों में प्रति ट्रॉली 2 से 3 हजार रुपए तक कमी की संभावना थी। अब जबकि स्थानीय स्तर पर अधिकारियों की उदासीनता और प्रदेश स्तर से अनुमतियां देने में देर किए जाने से न सिर्फ अवैध उत्खनन को बढ़ावा मिला है, बल्कि अनुमति मिलने के बाद भी बढ़े हुए दाम निर्माण दर की लागत को बढ़ाएंगे।
बीते वर्ष हुआ था 30 करोड़ रुपए में ठेका
● बीते वर्ष ठेका 30 करोड़ रुपए में हुआ था और रॉयल्टी 601 रुपए प्रति घनमीटर थी।
● मुरैना के ठेकेदार ने रेत उठाने के बाद भी सरकार के 17 करोड़ रुपए जमा नहीं किए तो ब्लैक लिस्टेड कर दिया गया।
● इस वर्ष एक कंपनी ने 17 करोड़ 60 लाख रुपए का टेंडर डाला था, जबकि सुनील सिंह भदौरिया के नाम से डाले गए टेंडर में 17.75 करोड़ रुपए की निविदा भरी गई थी।
इन खदानों को मिलनी है एनओसी
● रेत का उठाव करने से पहले ठेका लेने वाली कंपनी को पर्यावरण एनओसी लेना अनिवार्य है। अभी पुट्टी और सिली खदानों से उत्खनन का रास्ता ही साफ हुआ है। अभी बाबूपुर, लिधौरा, गजापुर, बसई, गधौटा-कुपेड़ा खदानों की एनओसी अटकी है।
ऑर्डर आने पर एग्रीमेंट साइन कराएंगे
रेत उत्खनन के लिए 2 अगस्त को टेंडर खोले गए थे। इसके बाद 4 अगस्त को टेंडर फाइनल हुआ। ठेका 30 जून-2023 तक वैध रहेगा। रेत उत्खनन के लिए अभी सिया से पुट्टी और सिली की खदानों के अनापत्ति प्रमाणपत्र जारी होने की सूचना है। हालांकि अभी हमारे पास लिखित में ऑर्डर नहीं आया है। अगर एनओसी आ जाएगी तो हम ठेकेदार से एग्रीमेंट साइन कराएंगे। इसके बाद ही उत्खनन किया जा सकेगा।
प्रदीप भूरिया, माइनिंग ऑफिसर