अहाते बंद होने के बाद भी भरेगा खजाना …!
आबकारी नीति: अभी 12200 करोड़ का राजस्व, इस साल और बढ़ने की संभावना …
भोपाल. शराब दुकानों के अहाते और शॉप बार बंद करने का सरकारी खजाने पर सीधे कोई असर नहीं आएगा। अभी राजस्व लक्ष्य 12,200 करोड़ है। खपत बढ़ने पर इसमें और इजाफे की उम्मीद है। इसके चलते अगले वित्तीय वर्ष में अहाते व शॉप बार बंद होने के बावजूद 14 हजार करोड़ तक का राजस्व लक्ष्य होगा।
सरकार ने रविवार को नई आबकारी नीति में अहाते व शॉप बार बंद करने का निर्णय किया है। इसके चलते सरकारी खजाने की कमाई का आकलन होगा। दस फीसदी दाम बढ़ाने के साथ नए टेंडर होंगे। इस कारण अहाते बंद होने के बावजूद राजस्व में बढ़ोत्तरी की स्थिति बनेगी। अहाते बंद करने का प्रस्ताव में जिक्र नहीं था।
लेकिन सीएम शिवराज ने ही कैबिनेट में अहाते बंद करने का फैसला किया था।
दूरी का अध्ययन
अब प्रदेश सरकार धार्मिक व शैक्षणिक संस्थाओं से 100 मीटर की दूरी में आने वाली शराब दुकानों की भी स्टडी करेगी। अभी 50 मीटर दूरी थी, जिसे बढ़ाकर 100 मीटर किया गया है। प्रस्ताव में पहले 250 मीटर व 500 मीटर की दूरी का अध्ययन था। अब 100 मीटर की दूरी वाली दुकानों का चिन्हित करके स्थानांतरित किया जाएगा।
उमा ने की तारीफ
पूर्व सीएम उमा भारती ने नई नीति पर सीएम की सोमवार को तारीफ की। ट्वीट किए- शिवराज ने अपना कर्तव्य निभाया। जनप्रतिनिधि, पुलिस व प्रशासन को नीति के क्रियान्वयन में सजग रहना होगा। मप्र को मॉडल स्टेट बनाने का प्रयास किया जाए।
कमाई का गणित
मप्र अभी देश में सातवें नंबर पर है। पहले नंबर पर करीब 36 हजार करोड़ के राजस्व के साथ यूपी है। मप्र में तीन साल पूर्व 15 हजार करोड़ का राजस्व लक्ष्य पहुंच गया था, लेकिन कोरोना काल के समय कमी की गई। इसके बाद 11 हजार करोड़ और फिर 12,200 करोड़ रुपए का लक्ष्य रखा गया। अब यह लक्ष्य 14 हजार करोड़ तक रहेगा।
अभी एक महीना और
10% बढ़ोत्तरी के साथ नए टेंडर होने हैं। इसमें अभी एक महीना लगेगा। इसके लिए नियमावली जारी होगी। ग्रुप में ठेके से लेकर अन्य प्रक्रियागत नियम आएंगे। एक अप्रेल से नई नीति लागू होगी। मार्च के अंत तक ही नए टेंडर की प्रक्रिया शुरू हो जाएगी।
जबलपुर: शराब दुकान के विरोध में महिलाएं सड़क पर उतरीं…
जबलपुर के सर्वोदय नगर के आगा चौक की शराब दुकान हटाने के लिए आंदोलन शुरू हो गया है। सोमवार को क्षेत्र की 500 से ज्यादा महिलाएं धरने पर बैठ गईं। कहना था कि आंदोलन तब तक जारी रहेगा, जब तक आबकारी विभाग क्षेत्र से शराब दुकान हटाने की घोषणा नहीं करता। धरने पर बैठे आंध्र तेलुगू सेवा समिति के सैमसन जैकब, पीटर, पदमा, लक्ष्मी ने कहा कि शराब दुकान से क्षेत्र का माहौल खराब हो रहा है। सुबह से देर रात तक शराब पीने वालों का जमावड़ा रहता है।
भोपाल सीएम शिवराज सिंह ने कहा है कि नई शराब नीति में फैसला किया है कि शराब के नशे में वाहन चलाने पर पहली बार छह महीने तक ड्राइविंग लाइसेंस निलंबित कर दिया जाएगा। दूसरी बार में दो साल के लिए और तीसरी बार में आजीवन गाड़ी चलाने पर प्रतिबंध लगा दिया जाएगा। सीएम ने यह बात सोमवार को नई आबकारी नीति के फैसलों को बताते हुए कही।
उन्होंने कहा, शराब पीकर गाड़ी चलाने की लत खराब है। अगर आपने नशा कर लिया तो खुद पर नियंत्रण नहीं रहता, इसलिए शराब पीकर गाड़ी चलाने पर कड़ी सजा के प्रावधान कर रहे हैं। जो नशे में खतरनाक ढंग से गाड़ी चलाते हुए पकड़ाते हैं और हादसे इत्यादि होते हैं तो उसमें भी सजा बढ़ाएंगे। मैंने विभाग से कहा है कि सजा कैसे, कितनी बढ़ाई जा सकती है इसका प्रारूप बनाएं। शिवराज ने कहा कि पहले ही मैंने तय कर लिया था कि मप्र में कोई शराब की नई दुकान नहीं खोली जाएगी। पहले अक्सर होता था कि जब भी नीति आती थी नई शराब की दुकान में प्रस्तावित की जाती थी।