Madhya Pradesh में वर्दीधारी पदों के लिए 28 साल ही रहेगी आयु सीमा पर मूल निवासी का प्रावधान हटेगा

भोपाल। प्रदेश में वर्दीधारी पदों पर भर्ती की अधिकतम आयु सीमा सरकार नए सिरे से तय करेगी। इसमें अधिकतम आयु सीमा तो 28 साल ही रखी जाएगी, लेकिन मूल निवासी का प्रावधान हटा दिया जाएगा।

दरअसल, सरकार ने हाईकोर्ट के एक फैसले के मद्देनजर सीधी भर्ती के पदों की आयु सीमा का निर्धारण करते हुए प्रदेश और अन्य राज्यों के निवासियों के लिए एक समान आयु सीमा तय कर दी थी। इसके हिसाब से वर्दीधारी पदों के लिए अधिकतम आयु सीमा तय की जानी है।

सूत्रों के मुताबिक प्रदेश सरकार ने जुलाई 2019 में सीधी भर्ती के पदों पर नियुक्ति के लिए अधिकतम आयु सीमा तय करते हुए प्रदेश के मूल निवासी और अन्य प्रांत के अभ्यर्थियों का भेद खत्म कर दिया था। अधिकतम आयु सीमा 35 साल रखी गई है। अनुसूचित जाति, जनजाति, अन्य पिछड़ा वर्ग, निगम, मंडल, नगर सैनिक और महिलाओं को पांच साल की छूट दी गई है।

साथ ही प्रदेश के रोजगार कार्यालय में जीवित पंजीयन होना अनिवार्य किया गया है। पुलिस, वन, आबकारी और जेल विभाग में होने वाली भर्ती के लिए अधिकतम आयु सीमा लोकसेवा आयोग के माध्यम से होने वाली राजपत्रित व कार्यपालिक पदों की भर्ती के लिए 28 साल और अन्य माध्यम से तृतीय और चतुर्थ श्रेणी के पदों के लिए 25 साल तय है। प्रदेश के मूल निवासियों को पांच से 13 साल की छूट दी गई है। इस प्रावधान को समाप्त किया जाएगा।

सामान्य प्रशासन विभाग के अधिकारियों का कहना है कि आयु सीमा प्रदेश और बाहरी राज्यांे के युवाओं के लिए एक समान रखी जाएगी। प्रदेश के युवाओं को अधिक से अधिक नौकरियां मिले, इसके लिए रोजगार कार्यालय में जीवित पंजीयन होने की शर्त रहेगी। अनुसूचित जाति, जनजाति, अन्य पिछड़ा वर्ग, महिला, नगर सैनिक, स्वशासी समिति, निगम, मंडल के कर्मचारियों को आयु सीमा में कुछ छूट भी दी जाएगी।

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