Uttarakhand Assembly Election 2022: काशीपुर विधानसभा सीट पर भाजपा मजबूत, इस बार कांग्रेस से होगी कड़ी टक्कर

काशीपुर विधानसभा सीट पर 2017 में भारतीय जनता पार्टी से हरभजन सिंह चीमा ने कांग्रेस के मनोज जोशी को हराया था.

उत्तराखंड विधानसभा चुनाव 2022 की तैयारियों में सियासत गर्म हो गई है. काशीपुर विधानसभा सीट (Kashipur Assembly Seat) पर 2017 में भाजपा ने जीत दर्ज की थी. देखना होगा 2022 के चुनाव में किसकी होगी जीत. राज्य विभाजन के बाद 2002 में परिसीमन के बाद काशीपुर विधानसभा (Kashipur Assembly Seat) में पहली बार विधानसभा में उत्तराखंड के शिरोमणि अकाली दल के एक मात्र हरभजन सिंह चीमा को अकाली दल के कोटे से भाजपा ने टिकट दिया और वे जीतकर विधायक बने.

दूसरी बार 2007 में भी हरभजन सिंह चीमा ने ही जीत हासिल किया. 2012 में कांग्रेस शासन काल में भी यहां भाजपा का कब्जा रहा और चीमा विधायक बने. 2017 में फिर भाजपा का कब्जा हुआ. काशीपुर विधानसभा (Kashipur Assembly Seat) में अब तक 4 बार चुनाव हुए हैं और चारों बार भाजपा का ही कब्जा रहा.

उधम सिंह नगर की सीट

काशीपुर विधानसभा सीट (Kashipur Assembly Seat) उत्तराखंड के उधम सिंह नगर जिले में आती है. 2017 में भारतीय जनता पार्टी से हरभजन सिंह चीमा ने भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के मनोज जोशी को 20114 मतों के अंतर से हराया था. 2012 में भाजपा के हरभजन सिंह चीमा 31,734 मतों के साथ कांग्रेस के मनोज जोशी को हराया था. 2007 में भाजपा के हरभजन सिंह चीमा 31,756 मतों के साथ सपा के मोहम्मद जुबेर को हराया था. 2002 में भाजपा के हरभजन सिंह चीमा ने जीत दर्ज की.

शिरोमणि अकाली दल को मिली सीट 

हरभजन सिंह चीमा पहले उद्योगपति थे जिनकी कई पेपर मिल थी. उसके बाद राजनीति में कदम रखा. भाजपा और शिरोमणि अकाली दल का गठबंधन होने के चलते उत्तराखंड में उन्हें भाजपा का ही नेता समझा जाता है. उत्तराखंड में वह शिरोमणि अकाली दल के मात्र एक ही नेता हैं, इसलिए वही उत्तराखंड में शिरोमणि अकाली दल के प्रदेश अध्यक्ष हैं. वह लगातार 4 बार से काशीपुर विधानसभा सीट (Kashipur Assembly Seat) से विधायक भी हैं.

क्या है समीकरण

काशीपुर विधानसभा सीट (Kashipur Assembly Seat) में 1,17,999 मतदाता थे, जिसमें 51 प्रतिशत पुरुष हैं, जबकि 48 प्रतिशत महिलाएं हैं. यहां जातीय समीकरण के लिहाज से देखें तो करीब 62.63 प्रतिशत हिंदू, 35.6 प्रतिशत मुस्लिम, 1.87 प्रतिशत सिख और 1 प्रतिशत अन्य समुदाय के लोग हैं.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *