HIV और AIDS में क्या अंतर है, कैसे फैलता है संक्रमण, बरतें 7 जरूरी सावधानियां

दुनिया में हर मिनट एड्स से एक मौत
HIV और AIDS में क्या अंतर है, कैसे फैलता है संक्रमण, बरतें 7 जरूरी सावधानियां

उत्तर-भारत के राज्य त्रिपुरा में HIV तेजी से फैल रहा है। त्रिपुरा राज्य एड्स नियंत्रण सोसाइटी (TSACS) के मुताबिक, अभी तक राज्य में 828 छात्र HIV पॉजिटिव पाए गए हैं, जबकि 47 छात्रों की मौत हो चुकी है। HIV संक्रमित 572 छात्र अभी भी HIV संक्रमण के साथ जी रहे हैं और इनमें से कई हायर एजुकेशन के लिए त्रिपुरा से बाहर चले गए हैं।

हालांकि, त्रिपुरा के स्वास्थ्य मंत्रालय ने इस पर सफाई दी है कि जिन 828 मामलों और 47 मौतों का आंकड़ा दिया जा रहा है, वो अप्रैल, 2007 से मई 2024 के बीच के हैं।

हाल ही में जारी किए गए संयुक्त राष्ट्र के आंकड़ों के मुताबिक, पूरी दुनिया में करीब 4 करोड़ लोग HIV से संक्रमित हैं। इनमें से 90 लाख से अधिक लोगों को कोई इलाज नहीं मिल पा रहा है। इसका नतीजा यह है कि हर मिनट एड्स के कारण किसी-न-किसी की मौत हो रही है।

भारत सरकार के आंकड़ों के मुताबिक देश में 23 लाख से अधिक लोग HIV संक्रमित हैं। इसमें सबसे अधिक लोग महाराष्ट्र, आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु, कर्नाटक और तेलंगाना के हैं।

HIV हमारे शरीर की श्वेत रक्त कोशिकाओं को निशाना बनाता है, जिससे इम्यूनिटी कमजोर हो जाती है। इससे ट्यूबरकुलोसिस, सीवियर इन्फेक्शन और कैंसर जैसी बीमारियां आसानी से हमला कर सकती हैं। HIV संक्रमित व्यक्ति के ब्लड, ब्रेस्ट मिल्क, स्पर्म और जेनाइटल (यौन अंग) फ्लूइड के जरिए यह वायरस दूसरे व्यक्ति में फैल सकता है। साल 2023 में पूरी दुनिया में HIV से 6 लाख 30 हजार लोगों की मौत हुई।

 HIV संक्रमण की। साथ ही जानेंगे कि-

  • HIV और AIDS में क्या अंतर है?
  • इसके क्या लक्षण हैं और यह कैसे फैलता है?
  • HIV हमारे शरीर को कैसे नुकसान पहुंचाता है?
  • इससे बचने के क्या उपाय हैं?

आर्टिकल में आगे बढ़ने से पहले देखते हैं कि साल 2023 में विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) द्वारा इकट्ठा किए गए दुनिया में HIV संक्रमण और मौत से जुड़े आंकड़े क्या कहते हैं।

HIV क्या है

HIV एक वायरस है, जो हमारी इम्यूनिटी कमजोर कर देता है। इससे एक्वायर्ड इम्यून डेफिशिएंसी सिंड्रोम (AIDS) हो सकता है। HIV हमारी टी-सेल्स को नष्ट करके प्रतिरक्षा प्रणाली को इतना कमजोर कर देता है कि हम छोटी-मोटी बीमारियों से भी लड़ने में असमर्थ हो जाते हैं।

HIV और AIDS में क्या अंतर है

इनके बीच बुनियादी फर्क यह है कि HIV एक वायरस है, जो हमारे इम्यून सिस्टम को कमजोर कर देता है। जबकि AIDS एक ऐसी मेडिकल कंडीशन है, जो HIV संक्रमण के कारण होती है। इसका मतलब होता है कि इम्यून सिस्टम गंभीर रूप से कमजोर हो गया है।

इसे ऐसे भी समझ सकते हैं कि अगर किसी व्यक्ति को HIV संक्रमण नहीं है तो उसे एड्स नहीं हो सकता है। अगर HIV संक्रमित व्यक्ति को शुरुआती स्टेज में ही इलाज मिल जाए तो उसे एड्स होने से रोका जा सकता है। वहीं ट्रीटमेंट न मिलने पर लगभग सभी संक्रमित लोगों को एड्स होने का खतरा रहता है।

HIV के लक्षण क्या हैं

बहुत संभव है कि किसी व्यक्ति को HIV संक्रमण होने के बावजूद कोई लक्षण ही न नजर आए। इसलिए अगर हम बीमार महसूस नहीं कर रहे हैं, तब भी समय-समय पर ब्लड टेस्ट करवाते रहना चाहिए।

आमतौर पर HIV संक्रमण के शुरुआती दिनों में फ्लू जैसे लक्षण दिखाई देते हैं।

संक्रमण के लगभग 1 महीने बाद HIV क्लिनिकल लेटेंसी स्टेज में पहुंच जाता है। इसे HIV की दूसरी स्टेज भी कहते हैं। यह कंडीशन कुछ साल या एक दशक तक बनी रह सकती है। इसके बाद HIV की तीसरी और सबसे अंतिम स्टेज AIDS की शुरूआत होती है।

ज्यादातर संक्रमित लोगों में दूसरी स्टेज के दौरान भी कोई लक्षण नहीं दिखाई देते हैं, जबकि कुछ लोगों में स्पष्ट लक्षण नजर आने लगते हैं।

HIV कैसे फैलता है

यह वायरस किसी को भी संक्रमित कर सकता है। यह मुख्य रूप से निम्न शारीरिक तरल पदार्थों के जरिए फैलता है।

  • खून
  • स्पर्म
  • जेनाइटल और एनल फ्लूइड
  • ब्रेस्ट मिल्क

आमतौर पर HIV एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में इन तरीकों से फैलता है।

  • वेजाइनल या एनल सेक्स से- सबसे अधिक संक्रमण ऐसे ही फैलते हैं।
  • नशे या इलाज में इंजेक्शन के लिए नीडल, सिरिंज साझा करने से।
  • टैटू इक्विपमेंट्स बिना स्टेरलाइज किए उपयोग करने से।
  • एचआईवी संक्रमित मां से बच्चे को।
  • स्तनपान कराने से।

क्या HIV ठीक हो सकता है

अभी तक HIV के लिए कोई इलाज या वैक्सीन उपलब्ध नहीं है। हालांकि इसके कई ऐसे वैकल्पिक इलाज खोज लिए गए हैं, जिनकी मदद से HIV संक्रमण से शरीर को होने वाले नुकसान को कम किया जा सकता है। इसकी प्रगति कम की जा सकती है।

इसे इस तरह समझिए कि अगर HIV संक्रमण के बाद पहली से दूसरी और फिर तीसरी स्टेज आने में 10 साल लगते हैं तो वैकल्पिक इलाज की मदद से इस साइकल को 20, 30, 40 साल या उससे भी ज्यादा समय तक बढ़ाया जा सकता है। इसमें आमतौर पर एंटीरेट्रोवायरल थेरेपी (ART) दी जाती है।

HIV से बचने का क्या उपाय है

इसके खतरे से बचने का सबसे अच्छा तरीका यह है कि हम पहले यह जान लें कि HIV कैसे फैलता है और फिर यह समझें कि इससे सुरक्षा कैसे करनी है। कंडोम इस्तेमाल किए बिना यौन संबंध बनाना, एक से अधिक पार्टनर्स के साथ यौन संबंध बनाना और नशीली दवाएं लेने के लिए नीडल्स साझा करना HIV संक्रमण के सबसे आम कारणों में से हैं।

नीचे लिखे ये तरीके अपनाकर HIV के जोखिम को कम किया जा सकता है।

  1. अपना HIV टेस्ट करवाएं।
  2. किसी भी तरह के सेक्स से पहले लेटेक्स कंडोम का उपयोग करें।
  3. नशीली दवाएं लेने के लिए कभी भी नीडल्स साझा न करें। बेहतर तो ये होगा कि नशीली दवाओं से बिलकुल दूर रहें।
  4. सभी सेक्शुअली ट्रांसमिटेड बीमारियों का परीक्षण और इलाज करवाएं।
  5. नाई की दुकान में नया ब्लेड इस्तेमाल करने को कहें।
  6. इंजेक्शन लगवाते या ब्लड टेस्ट के लिए सैंपल देते समय ध्यान दें कि नया पैकेट खोलकर नई ब्रांड न्यू सिरिंज निकाली जा रही है या नहीं। स्टेरेलाइज्ड सिरिंज इस्तेमाल करने से मना कर दें।
  7. टैटू करवाते समय ध्यान दें कि जो नीडल यूज जो रहा है, वो बिल्कुल ब्रांड न्यू होना चाहिए।

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