ग्वालियर की जीवाजी यूनिवर्सिटी के रिजल्ट में फिर धांधली ?
ग्वालियर की जीवाजी यूनिवर्सिटी के रिजल्ट में फिर धांधली, वीआरजी कॉलेज की 70 प्रतिशत से ज्यादा छात्राओं को किया फेल
जीवाजी विश्वविद्यालय में फिर एक बार परीक्षा परिणाम में धांधली का मामला सामने आया है। छात्राओं का आरोप है कि उनकी कक्षा में 70 प्रतिशत से अधिक छात्राओं का परीक्षा परिणाम गलत मूल्यांकन के चलते प्रभावित हुआ है। इसमें 50 प्रतिशत छात्राओं की एटीकेटी आई है वहीं 30 प्रतिशत छात्राओं को तीन विषय में फेल कर दिया गया है।
- छात्राओं का आरोप 70 प्रतिशत से अधिक परिणाम गलत मूल्यांकन से प्रभावित।
- इन छात्राओं को पहले एबीवीपी व बाद में एनएसयूआई ने भी दिया है समर्थन।
- 50 फीसदी छात्राओं की एटीकेटी तो 30 फीसदी को तीन विषय में फेल किया।
ग्वालियर। जीवाजी विश्वविद्यालय में फिर एक बार परीक्षा परिणाम में धांधली का मामला सामने आया है। यहां वीआरजी कॉलेज मुरार की बीकाम प्रथम और द्वितीय वर्ष की छात्राओं ने मूल्यांकन में गड़बड़ी का आरोप लगाते हुए शुक्रवार को जेयू में जमकर हंगामा किया।
जिंदाबाद-मुर्दाबाद के नारों के बीच में छात्राओं ने छह घंटे से अधिक समय तक जेयू में धरना दिया। देर शाम पुलिस द्वारा दवाब बनाने पर छात्राएं धरने से उठीं। इस विरोध प्रदर्शन में छात्र संगठनों का भी दखल देखने को मिला। सुबह से शाम तक जेयू में अपनी परेशानी लेकर घूमती छात्राओं को पहले एबीवीपी ने समर्थन दिया वहीं शाम के समय छात्राएं एनएसयूआई के साथ कुलगुरु कार्यालय के बाहर नारेबाजी करती दिखीं।
छात्राओं का आरोप है कि उनकी कक्षा में 70 प्रतिशत से अधिक छात्राओं का परीक्षा परिणाम गलत मूल्यांकन के चलते प्रभावित हुआ है। इसमें 50 प्रतिशत छात्राओं की एटीकेटी आई है वहीं 30 प्रतिशत छात्राओं को तीन विषय में फेल कर दिया गया है।
इस मामले में शाम को हुए प्रदर्शन में नेतृत्व करने वाले एनएसयूआई छात्र नेता पारस यादव का आरोप है कि विश्वविद्यालय में बीते कुछ महीनों से लगातार गलत तरीके से कापियां चेक किए जाने के मामले सामने आ रहे हैं। इससे पहले साइंस कालेज के विद्यार्थियों के साथ भी यही हुआ था। वहीं जेयू के अधिकारी छात्राओं की कापिंया विशेषज्ञों से जंचवाने के लिए तैयार हैं।
छह घंटे तक की नारेबाजी
जेयू की स्थायी समिति की बैठक चल रही थी, जिस समय छात्राओं ने धरना देना शुरू कर दिया। अपनी कापियां दोबारा जंचवाने की मांग को लेकर धरने पर बैठी छात्राओं ने छह घंटे तक नारेबाजी की, लेकिन जेयू के कुलगुरु ने एक बार भी छात्राओं से बात करना उचित नहीं समझा। वहीं सहायक कुलसचिव जगपाल यादव और अमित सिसोदिया आए भी, पर छात्राओं ने कुलगुरु से मिलने की जिद की तो वह भी वापस चले गए।
फिर से करवा रहे मूल्यांकन
परीक्षा परिणाम को लेकर छात्राओं में असंतोष है। उनके आवेदन के आधार पर विषय विशेषज्ञों से दोबारा कापियों का मूल्यांकन करवा रहे हैं। – अरुण चौहान, कुलसचिव, जेयू।