जम्मू-कश्मीर में धारा 370 पर बवाल ?
जम्मू-कश्मीर में धारा 370 पर बवाल, जानें कैसे महाराष्ट्र-झारखंड में बन रही BJP के लिए संजीवनी
जम्मू-कश्मीर विधानसभा में तीन दिनों के हंगामे के बाद धारा 370 की बहाली को लेकर शुक्रवार को प्रस्ताव पारित हो गया. इसे लेकर जम्मू-कश्मीर में जमकर सियासत हो रही है. वहां हंगामा मचा हुआ है, लेकिन इसका असर देश की राजनीति पर दिखने लगा है. पीएम नरेंद्र मोदी ने महाराष्ट्र की चुनावी सभा में इसे उठाकर साफ कर दिया है कि बीजेपी विधानसभा चुनाव में धारा 370 की बहाली के प्रस्ताव को मुद्दा बनाने जा रही है.
जम्मू-कश्मीर में आर्टिकल 370 की बहाली का मुद्दा फिर से गरमा गया है. शुक्रवार को जम्मू-कश्मीर विधानसभा ने आर्टिकल 370 की बहाली को लेकर एक प्रस्ताव पारित किया है. प्रस्ताव के विरोध में बीजेपी विधायकों ने विधानसभा के अंदर जमकर हंगामा मचाया और इस प्रस्ताव का विरोध किया. जम्मू-कश्मीर विधानसभा में आर्टिकल 370 पर हुए बवाल को बीजेपी ने महाराष्ट्र और झारखंड विधानसभा चुनाव का मुद्दा बना दिया है. जम्मू-कश्मीर में धारा 370 की बहाली के प्रस्ताव को लेकर शुक्रवार को महाराष्ट्र की चुनावी रैलियों में पीएम मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कांग्रेस पर जमकर निशाना साधा और कहा कि न तो कांग्रेस नेता राहुल गांधी और न ही उनकी आने वाली पीढ़ियां जम्मू-कश्मीर को विशेष दर्जा देने वाले अनुच्छेद 370 को वापस ला पाएंगी.
बता दें कि महाराष्ट्र और झारखंड में विधानसभा चुनाव हैं और दोनों ही राज्यों में एनडीए और इंडिया गठबंधन का मुकाबला है. ऐसे में 370 और 35ए की समाप्ति और उसकी बहाली को लेकर जम्मू कश्मीर विधानसभा में प्रस्ताव पारित करने को लेकर बीजेपी ने कांग्रेस पर हमला बोलना शुरू कर दिया है.
जम्मू कश्मीर में विधानसभा चुनाव के बाद उमर अब्दुल्ला के नेतृत्व में नेशनल कॉन्फ्रेंस की सरकार बनी. नेशनल कॉन्फ्रेंस की सरकार ने अपनी पहली कैबिनेट में जम्मू कश्मीर को राज्य का दर्जा देने का प्रस्ताव को मुहर लगा दी, जिसे उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने मंजूरी भी दे दी. इसे लेकर पीडीपी, पीपुल्स कॉन्फ्रेंस और एआईपी जैसी राजनीतिक पार्टियों ने नेशनल कॉन्फ्रेंस पर वादाखिलाफी का आरोप लगाया.
धारा 370 की बहाली के प्रस्ताव पर बवाललेकिन बवाल तब शुरू हुआ जब नेशनल कॉन्फ्रेंस ने जम्मू कश्मीर विधानसभा में धारा 370 की बहाली का प्रस्ताव पेश किया. तीन दिनों तक मचे बवाल के बाद शुक्रवार को विधानसभा ने प्रस्ताव पारित कर दिया. इसे लेकर जम्मू-कश्मीर विधानसभा में तीसरे दिन भी जमकर हंगामा मचा. स्पीकर को 12 विपक्षी विधायकों और लंगेट विधायक शेख खुर्शीद को सदन से बाहर निकालना पड़ा. वहीं, भाजपा विधायकों नेशनल कॉन्फ्रेंस पर ‘पाकिस्तानी एजेंडा चलाने का आरोप लगाते हुए जमकर हंगामा किया.
धारा 370 की बहाली को लेकर जम्मू-कश्मीर के विधानसभा में मचे बवाल का असर केंद्रशासित प्रदेश की राजनीति में कितनी पड़ेगी, यह तो समय बताएगा, लेकिन देश की सियासत में इस बवाल का खूब असर देखने को मिल रहा है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से लेकर बीजेपी के आला नेताओं धारा 370 की बहाली के मुद्दे को लेकर कांग्रेस पर जमकर हमला बोलना शुरू कर दिया है. महाराष्ट्र और झारखंड की चुनावी रैली में इस मुद्दे को उठाया जा रहा है और कांग्रेस पर निशाना साधा जा रहा है.
कांग्रेस पर निशाना, साजिश रचने का आरोपजम्मू-कश्मीर में नेशनल कॉन्फ्रेंस और कांग्रेस की गठबंधन सरकार है, हालांकि कांग्रेस सीएम उमर अब्दुल्ला की सरकार को बाहर से समर्थन कर रही है, लेकिन दोनों ने मिलकर चुनाव लड़ा है. जम्मू कश्मीर विधानसभा ने केंद्र शासित प्रदेश में अनुच्छेद 370 को वापस लाने के लिए प्रस्ताव पारित किया तो बीजेपी ने इसे लेकर कांग्रेस पर निशाना साधा.
महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के लिए अपनी पहली चुनावी रैली में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने धारा 370 की वापसी के प्रस्ताव को मुद्दे को उठाया और उसे कांग्रेस की साजिश करार दिया. प्रधानमंत्री ने चुनावी रैली में कांग्रेस पर हमला बोलते हुए कहा कि महाराष्ट्र की जनता को जम्मू-कश्मीर में कांग्रेस की साजिशों को समझना चाहिए. उन्होंने साफ कहा कि देश की जनता कभी भी अनुच्छेद 370 पर इस प्रस्ताव को स्वीकार नहीं करेगा. जब तक मोदी है, कांग्रेस कश्मीर में कुछ नहीं कर पाएगी. जम्मू-कश्मीर में केवल भीम राव अंबेडकर का संविधान चलेगा, कोई भी ताकत 370 को फिर से वापस नहीं ला सकती है.
केंद्रीय मंत्री अमित शाह ने भी पश्चिमी महाराष्ट्र के सांगली में विधानसभा चुनाव के लिए एक प्रचार रैली में बोलते हुए अनुच्छेद 370 की वापसी के मुद्दे को लेकर कांग्रेस पर हमला बोला. अमित शाह ने कहा कि न तो कांग्रेस नेता राहुल गांधी और न ही उनकी आने वाली पीढ़ियां जम्मू-कश्मीर को विशेष दर्जा देने वाले अनुच्छेद 370 को वापस ला पाएंगी.
महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में बना मुद्दाबता दें कि लोकसभा चुनाव में बीजेपी की अगुवाई वाली महायुति का प्रदर्शन बहुत आशाजनक नहीं रहा था, ऐसे में बीजेपी और महायुति की पार्टियां फिर से महाराष्ट्र में सत्ता में वापस पाने के लिए पूरा जोर लगा रही है. . इसी तरह से झारखंड में भी झारखंड मुक्ति मोर्चा सत्ता में बीजेपी उसे सत्ता से हाटने के लिए उस पर लगातार हमला बोल रही है. महाराष्ट्र में सीएम योगी ने बंटेंगे तो कटेंगे जैसा नारा देकर हिंदुओं को एकजुट करने की कोशिश की तो अब फिर से चुनाव में धारा 370 की बहाली का मुद्दा उठाया जाने लगा है. इसके साथ ही चुनावी सियासत में पाकिस्तान की एंट्री हो गई है.
अलगाववाद और पाकिस्तानी एजेंडा की चर्चापीएम मोदी ने शुक्रवार को चुनावी सभा में कांग्रेस पर हमला बोलते हुए कहा कि वह पाकिस्तान के एजेंडा का आगे नहीं बढ़ाएं. पीएम ने कांग्रेस पर आरोप लगाया कि वे अलगाववादियों की भाषा बोल रही है. इस तरह से प्रधानमंत्री ने महाराष्ट्र चुनाव में इस मुद्दे को केंद्र में ला दिया है और कहा है कि अनुच्छेद 370 की बहाली से जम्मू-कश्मीर में एससी, एसटी और ओबीसी फिर से आरक्षण के लाभ से वंचित हो जाएंगे और इसलिए कांग्रेस आरक्षण के खिलाफ है. वहीं इस मुद्दे पर कांग्रेस अपने को अलग-थलग रखने की कोशिश कर रही है. क्योंकि कांग्रेस का अंदेशा है कि इस मुद्दे पर उसे महाराष्ट्र और झारखंड में नुकसान हो सकता है.
आतंकी हमले और हिंसा पर पलटवारहालांकि जम्मू कश्मीर में आतंकी हमले को लेकर कांग्रेस सहित शिवसेना के सांसद संजय राउत लगातार हमला बोल रहे हैं. राज्यसभा सदस्य संजय राउत ने 2019 में अनुच्छेद 370 को निरस्त किए जाने के बाद से जम्मू-कश्मीर में बिगड़ते हालात पर चिंता व्यक्त की. उन्होंने कहा कि जम्मू-कश्मीर में कई सैनिकों के शहीद होने पर कहा कि जब से यह सरकार दस साल पहले सत्ता में आई है, खासकर अनुच्छेद 370 को हटाने के बाद, जम्मू-कश्मीर में स्थिति खराब होती जा रही है.