रुद्राक्ष अस्पताल में गर्भवती महिला के पेट में शिशु की मौत के मामले में डा अनीता श्रीवास्तव को बचाने की पटकथा पूरी हो चुकी है। सीएमएचओ की जांच पर डायरेक्टर हेल्थ ने न तो नोटिस दिया न कोई कार्रवाई की। यहां तक की आयुक्त और स्वास्थ्य आयुक्त तक को जानकारी भेजना ठीक नहीं समझा। उल्टा सीएमएचओ की जांच पर एक और जांच बैठा दी। अंदर की खबर है कि इस मामले में डा अनीता को क्लीन चिट देने की तैयारी है। जल्द ही यह रिपोर्ट डायरेक्टर हेल्थ को सौंप दी जाएगी। हैरत की बात यह कि डायरेक्टर हेल्थ के कार्यालय में डिप्टी डायरेक्टर के पद पर प्रदीप श्रीवास्तव पदस्थ हैं,जो डा अनीता श्रीवास्तव के पति है। डा प्रदीप के ही साथियों को डायरेक्टर हेल्थ ने जांच कमेटी में शामिल किया है।

 

गौरतलब है कि वर्ष 2021 में जिला अस्पताल के प्रसूतिगृह में गर्भवती प्राची शर्मा प्रसव पीड़ा के चलते भर्ती हुईं थी। जिसे डा अनीता श्रीवास्तव ने रुद्राक्ष अस्पताल पहुंचा दिया था। जहां पर गर्भवती महिला के पेट को नर्सेस में ने दबा दिया जिससे गर्भ में पल रहे शिशु की मौत हो गई थी। इसी मामले में जांच में डा अनीता श्रीवास्तव को दोषी पाया गया था और रुद्राक्ष अस्पताल को पंजीयन सीएम एचओ ने निरस्त कर दिया था तथा जिस आशा कार्यकर्ता के द्वारा डा अनीता श्रीवास्तव ने गर्भवती को रुद्राक्ष अस्पताल भेजा था उसे भी बर्खास्त कर दिया गया। आशा कार्यकर्ता ने जांच में इस बात को स्वीकार किया था कि डा अनीता श्रीवास्तव के कहने पर ही उसने गर्भवती को निजी अस्पताल तक पहुंचाया था।

निजी अस्पताल में हुई थी महिला के शिशु की मौत

डा. अनीता श्रीवास्तव के मामले में सीएमएचओ की जांच के बाद दोबारा जांच क्यों कराई जा रही है और डायरेक्टर हेल्थ कार्यालय में उनकी जांच को लेकर क्या चल रहा है, मैं दिखवाता हूं। डायरेक्टर हेल्थ से मैं बात करूंगा।

 

संभागायुक्त